जीरो बजट में उगाएं 55 रुपये किलो वाला चावल

रांची के अनगड़ा प्रखंड के झिरकी गांव में पिछले साल पांच-छह किसानों ने मिलकर जैविक रीति से धान की खेती की. महज 20 किलो धान के बीज से खेती कर इन किसानों ने पांच क्विंटल धान उपजाया. इस खेती की विशेषता यह थी कि इसके जरिये झारखंड राज्य में पहली दफा प्रमाणित रूप से जैविक […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 16, 2013 1:46 PM

रांची के अनगड़ा प्रखंड के झिरकी गांव में पिछले साल पांच-छह किसानों ने मिलकर जैविक रीति से धान की खेती की. महज 20 किलो धान के बीज से खेती कर इन किसानों ने पांच क्विंटल धान उपजाया.

इस खेती की विशेषता यह थी कि इसके जरिये झारखंड राज्य में पहली दफा प्रमाणित रूप से जैविक धान की खेती हुई और लोगों को इसका भरपूर लाभ मिला. किसानों ने इस खेती के जरिये बिरसामति धान का जो सुगंधित चावल तैयार किया वह 55 रुपये किलो बिका जबकि जैविक खाद और कीटनाशकों के इस्तेमाल और श्रीविधि को अपनाने के कारण उन्हें बहुत कम पैसे खर्च करने पडे. अधिकांश खाद और कीटनाशक घर में ही गोबर और गोमूत्र से तैयार हो गये. इस इलाके के लोग इस तरह की खेती से इतने उत्साहित हैं कि इस साल 50 हेक्टेयर जमीन में जैविक विधि से सुगंधा धान की खेती करने का मन बना रहे हैं.
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