झामुमो को अपना गढ़ बचाने की है चुनौती

।। सुनील चौधरी ।। रांची : चौथे व पांचवे चरण के चुनाव में झारखंड मुक्ति मोरचा(झामुमो) को अपना गढ़ बचाने की चुनौती है. वहीं मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को संताल-परगना में खुद को स्वीकार्य नेता बनाये रखने की भी चुनौती है. पार्टी की पकड़ संताल-परगना में सबसे अधिक है, जहां इसके कैडर वोट हैं. वहीं भाजपा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 13, 2014 4:13 AM

।। सुनील चौधरी ।।

रांची : चौथे व पांचवे चरण के चुनाव में झारखंड मुक्ति मोरचा(झामुमो) को अपना गढ़ बचाने की चुनौती है. वहीं मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को संताल-परगना में खुद को स्वीकार्य नेता बनाये रखने की भी चुनौती है. पार्टी की पकड़ संताल-परगना में सबसे अधिक है, जहां इसके कैडर वोट हैं. वहीं भाजपा ने भी संताल-परगना के लिए कमर कस ली है. नरेंद्र मोदी की दो-दो सभा संताल-परगना में ही है. एक सभा वह बरहेट में करेंगे और दूसरी सभा दुमका में करेंगे. दोनों ही झामुमो का इलाका माना जाता है.

* हेमंत की दोनों सीटों पर प्रतिष्ठा

हेमंत सोरेन इस बार बरहेट और दुमका सीट से चुनाव लड़ रहे हैं. बरहेट में वह हेमलाल मुर्मू के खिलाफ लड़ेंगे. श्री मुर्मू झामुमो के कभी कद्दावर नेता माने जाते थे. उन्होंने अब पाला बदल कर भाजपा का दामन थाम लिया है. उनका सीधा मुकाबला हेमंत सोरेन से ही है. वहीं दुमका सीट से विधायक रहे हेमंत सोरेन इस बार फिर इस सीट से खड़े हैं. झामुमो को रोकने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दोनों कार्यक्रम इन्हीं दोनों सीटों पर है. ऐसे में हेमंत को कड़ी चुनौती का सामना करना पड़ सकता है.

हेमंत सोरेन को अपनी सीट के साथ-साथ अपने प्रत्याशियों की जीत सुनिश्चित कराने की जिम्मेवारी भी है. जामा सीट से श्री सोरेन की भाभी व स्व दुर्गा सोरेन की पत्नी सीता सोरेन खड़ी हैं. यह सीट भी झामुमो के लिए प्रतिष्ठा की सीट मानी जा रही है. विधानसभा अध्यक्ष शशांक शेखर भोक्ता की सारठ, मंत्री हाजी हुसैन अंसारी की मधुपुर व मंत्री लोबिन हेंब्रम की बोरियो सीट भी हॉट सीट बन गयी है.

वहीं लिट्टीपाड़ा में झामुमो सरकार में मंत्री रहे साईमन मरांडी भी इस बार भाजपा की टिकट से चुनाव लड़ रहे हैं. झामुमो के लिए इस सीट को दोबारा हासिल करने की चुनौती है. इन सभी सीटों पर झामुमो को भाजपा, झाविमो, कांग्रेस से कड़ी चुनौती मिल रही है. झामुमो के पास इन सीटों को दोबारा हासिल करने के अलावा एक दो और सीट प्लस करने की भी चुनौती है. खासकर महगामा, राजमहल, गोड्डा, पोड़ैयाहाट व नाला पर झामुमो की नजर है.

* मोदी की काट के लिए बनेगी रणनीति

झामुमो संताल-परगना के लिए नयी रणनीति बना रही है. नरेंद्र मोदी की दो-दो सभाओं को देखते हुए झामुमो भी अपनी पूरी ताकत झोंकने की तैयारी कर रहा है. नरेंद्र मोदी को जवाब उनकी ही शैली में देने का होमवर्क किया जा रहा है. इसके लिए कोर टीम काम कर रही है. सूत्रों ने बताया कि मोदी की सभा के ठीक बाद झामुमो की सभा होगी और एक-एक सवालों का जवाब झामुमो देने के मूड में है. इसमें मुख्य रूप से शिबू सोरेन और हेमंत सोरेन को ही आगे रखा जायेगा.

– वर्ष 2009 में चौथे व पांचवे चरण की 31 सीटों में 12 सीटों पर झामुमो का रहा है कब्जा

– संताल-परगना की 20 में 10 सीट झामुमो ने हासिल किया था

* इन सीटों पर झामुमो की प्रतिष्ठा दावं पर

मधुपुर, टुंडी, डुमरी,बोरियो, बरहेट, लिट्टीपाड़ा, पाकुड़, शिकारीपाड़ा, जामताड़ा, दुमका, जामा, सारठ

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