काबुल : अफगानिस्तान में नाटो की जंग समाप्त हो गयी है. नाटो ने रविवार को औपचारिक तौर पर अपनी जंग खत्म कर दी. आतंकियों के खिलाफ नाटो का यह जंग पिछले 13 साल से लगातार जारी था.
जंग की समाप्त होने के अवसर पर काबुल में सामान्य ढंग से एक समारोह आयोजित किया जिसे गुप्त रखा गया. बताया जा रहा है कि तालिबानी हमले की आशंका को देखते हुए ऐसा किया गया. इस संघर्ष ने देश को भीषण विद्रोही हिंसा की चपेट में छोड दिया.
तालिबान ने हाल के वर्षों में लगातार आत्मघाती और गोलीबारी से हमले किए है. नाटो कमांडर अमेरिकी जनरल जॉन कैम्पबेल ने एकत्र हुए सैनिकों से कहा, ‘‘ हमने साथ मिलकर अफगान लोगों को निराशा के अंधेरे से निकाला है और भविष्य की उम्मीद दी है.’’
उन्होंने कहा, ‘‘ आप लोगों ने अफगानिस्तान को मजबूत बनाया है और हमारे देशों को सुरक्षित किया है.’’ अमेरिकी नीत अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा सहयोग बल :आईएसएएफ: युद्धक मिशन पर था और इस बल के 2001 से अबतक 3,485 सैनिको मारे गए हैं. वह एक जनवरी से नाटो ‘प्रशिक्षण और सहयोग’’ मिशन तब्दील हो जाएगा.
करीब 12,500 विदेश सैनिक अफगानिस्तान में रहेंगे लेकिन सीधी लडाई में शामिल नहीं होंगे. लेकिन तालिबान के खिलाफ लडाई में अफगान सेना और पुलिस की सहायता करेंगे. तालिबान ने इस देश पर 1996 से 2001 तक शासन किया है.