किसी के बारे में गलती से भी बुरा न सोचें
।। दक्षा वैदकर ।। धीरज का एक छोटे–से शहर में ट्रांसफर हो गया. जब बॉस ने उसे यह खबर दी, तो केबिन के बाहर आते ही उसने अपने साथियों से कहा ‘मुझे पहले से पता था कि बॉस को मैं पसंद नहीं. जिस दिन से यह आया है, उस दिन से इसकी शकल मुझे पसंद […]
।। दक्षा वैदकर ।।
धीरज का एक छोटे–से शहर में ट्रांसफर हो गया. जब बॉस ने उसे यह खबर दी, तो केबिन के बाहर आते ही उसने अपने साथियों से कहा ‘मुझे पहले से पता था कि बॉस को मैं पसंद नहीं. जिस दिन से यह आया है, उस दिन से इसकी शकल मुझे पसंद नहीं है. इसने मेरे साथ ऐसा क्यों किया? मैंने आज तक उसे कोई उल्टा जवाब नहीं दिया. न गाली दी. वह जो काम बोलता, वो मैं चुपचाप करता. मैं भले ही उससे नफरत करता था, लेकिन मैंने आज तक अपने चेहरे पर यह भाव नहीं आने दिया. फिर भी उसने मेरा ट्रांसफर कर दिया.’
धीरज की इस बात पर एक कहानी सुनें. एक राजा सुबह–सुबह अपने मंत्री के साथ टहलने निकला. उसने एक खेत में चंदन के ढेर सारे पेड़ देखे. उसने मंत्री से कहा कि यह खेत जिसका भी हो, उसे कह दो कि वह यह जगह छोड़ कर कहीं और चला जाये. ये खेत अब राजा का है. मंत्री बहुत दयालु व समझदार था. वह उस खेत के मालिक के पास गया. उसने राजा का आदेश उसे बताया. मालिक रोने लगा. उसने कहा, ‘मैं छह महीने से परेशान हूं.
मेरी बेटी की शादी है और मेरे पास रुपये नहीं है. ऊपर से आप लोग मुझे राज्य छोड़ कर जाने को कह रहे हैं.’ मंत्री ने कहा, ‘क्या तुमने राजा के बारे में कुछ दिनों पहले कुछ बुरा सोचा था?’ मालिक आश्चर्य में पड़ गया कि मंत्री को यह कैसे पता. उसने बताया ‘मैं पिछले कई महीनों से सोच रहा था कि ‘काश, राजा मर जाये और उसके शरीर को जलाने के लिए यहां से ढेर सारी चंदन की लकड़ी खरीदी जाये, ताकि मेरी बेटी की शादी हो सके.’ मंत्री ने जवाब दिया, ‘तुम यह भी तो सोच सकते थे कि राजा बहुत बड़ा यज्ञ, हवन करवाये और उसके लिये मुझसे ढेर सारी चंदन की लकड़ी खरीदे.’
दोस्तों, हम में से कई लोग एक–दूसरे को देख कर मुस्कराते है, लेकिन दिमाग में एक–दूसरे के बारे में अच्छा नहीं सोचते हैं. हमें लगता है कि सामनेवाला हमारे चेहरे को पढ़ सकता है, बुरी बातों को सुन सकता है, लेकिन हमारे दिमाग में क्या चल रहा है, यह उसे थोड़े ही पता है. वह भला हमें नुकसान कैसे पहुंचायेगा?’, लेकिन सच तो यह है कि आपके द्वारा सोची गयी हर बात, वह चाहे अच्छी हो या बुरी ब्रह्मांड में जाती है और उस व्यक्ति से टकरा कर आपके पास उसी रूप में वापस आती है.
– बात पते की
* कभी किसी के बारे में गलत न सोचें. आपका यह नकारात्मक विचार घूम–फिर कर आपके ऊपर ही असर करेगा. हमेशा अच्छा बोलें, अच्छा सोचें.
* आप भले ही किसी को मुंह से गाली न दें, लेकिन अगर आपने मन में बुरे विचार रखें, तो आपने उस इनसान की तरफ नकारात्मक ऊर्जा भेज दी है.