”प्रधानमंत्री मोदी के कार्यकाल में भारत अमेरिका संबंध मजबूत करने का अनूठा अवसर’: अमेरिकी सांसद
वॉशिंगटन : अमेरिका के एक प्रभावशाली अमेरिकी सांसद एड रॉयस ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में, खास तौर पर आर्थिक और सुरक्षा परिदृश्य में भारत और अमेरिका को अपने संबंधों को मजबूत करने का एक अनूठा अवसर मिला है.’ कांग्रेस सदस्य एड रॉयस ने कहा है ‘प्रधानमंत्री मोदी के निर्वाचन के […]
वॉशिंगटन : अमेरिका के एक प्रभावशाली अमेरिकी सांसद एड रॉयस ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कार्यकाल में, खास तौर पर आर्थिक और सुरक्षा परिदृश्य में भारत और अमेरिका को अपने संबंधों को मजबूत करने का एक अनूठा अवसर मिला है.’
कांग्रेस सदस्य एड रॉयस ने कहा है ‘प्रधानमंत्री मोदी के निर्वाचन के साथ ही अमेरिका और भारत को अपने आर्थिक एवं सुरक्षा संबंधों को मजबूत करने का एक अनूठा अवसर मिला है. हमारे व्यापार संबंधों ने हालिया वर्षों में खासी प्रगति की है लेकिन हमें अपनी वास्तविक क्षमता का अभी उपयोग करना है.’
रॉयस सदन की विदेशी मामलों की समिति के अध्यक्ष हैं और इस सप्ताह भारत जा रहे द्विदलीय कांग्रेसी प्रतिनिधिमंडल की अगुवाई कर रहे हैं. एक बयान में बताया गया है कि भारत में यह प्रतिनिधिमंडल नयी दिल्ली जाएगा जहां रॉयस मजबूत व्यापार संबंधों और आतंकवाद के मुकाबले पर सहयोग को बढाने सहित भारत-अमेरिका संबंधों को और अधिक मजबूत बनाने पर चर्चा करेंगे.
रॉयस ने कहा ‘अमेरिका-भारत असैन्य परमाणु समझौते को आगे बढाने में अहम भूमिका निभाने के बाद मैं इस महत्वपूर्ण समझौते के कार्यान्वयन की दिशा में कदम बढ़ते देखना चाहता हूं. मैं भारत सरकार के शीर्ष अधिकारियों के साथ हमारी मुलाकात में इन सभी मुद्दों पर जोर देना चाहूंगा.’ वरिष्ठ भारतीय अधिकारियों के साथ मुलाकात में रॉयस भारत अमेरिका असैन्य परमाणु सहयोग में सतत प्रगति की वकालत करेंगे और द्विपक्षीय निवेश संधि के कार्यान्वयन के जरिये व्यापक आर्थिक सहयोग की जरुरत पर जोर देंगे.
भारत यात्रा के दौरान रॉयस और उनका प्रतिनिधिमंडल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, वित्त मंत्री अरुण जेटली, रक्षा मंत्री मनोहर पर्रिकर, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित कुमार डोभाल, गृह मंत्री राजनाथ सिंह और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज से मुलाकात करेगा.‘कांग्रेशनल कॉकस ऑन इंडिया एंड इंडियन अमेरिकन्स’ के पूर्व सह अध्यक्ष रॉयस ने कॉकस को सदन में सबसे बड़ा कॉकस बनाने में मदद की. मोदी जब सितंबर में अमेरिका गए थे तब रॉयस ने उनसे कई बार मुलाकात की.
अमेरिका भारत असैन्य परमाणु समझौता जब सदन में पेश हुआ था तब उसकी राह प्रशस्त करने में रॉयस की अहम भूमिका थी. इसके अलावा अमेरिका भारत सुरक्षा संबंधों को आगे बढ़ाने में भी उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रही. वह हमेशा से कट्टरपंथी चरमपंथ के खिलाफ आवाज उठाते रहे हैं, जिनका स्रोत पाकिस्तानी देवबंदी स्कूल रहे हैं.