जोहानिसबर्ग : भारतीय मूल के दो दक्षिण अफ्रीकी युवक कथित तौर पर इस्लामिक स्टेट के लिए लडते हुए मारे गए हैं. संकट ग्रस्त सीरिया में मारे जाने वाले ये पहले दक्षिण अफ्रीकी नागरिक हैं. मीडिया में आये आलेखों में आज कहा गया है कि एक गोपनीय रिपोर्ट में संकेत दिया गया है कि फयाज वली (23) एक अनाथालय के लिए काम करने का दावा करते हुए सीरिया गया था लेकिन इस्लामिक स्टेट के लिए लडते हुए मारा गया.
वली के पिता रियाद ने साप्ताहिक संडे टाइम्स को बताया कि वह अपने बेटे की मौत से आहत हैं लेकिन उन्हें यकीन नहीं हो रहा है कि वह आइएस में शामिल हुए था. पिता ने कहा, ‘यदि मैं जानता तो उसे कभी जाने नहीं देता लेकिन खबरों में दावा किया गया है कि ‘रोशनी’ इलाके से दो दक्षिण अफ्रीकी आइएस की ओर से लडते हुए मारे गये हैं जबकि कई अन्य समूह में शामिल होने की योजना बना रहे हैं.’
खबरों के मुताबिक दोनों लोगों के परिवारों को पहले बताया गया था कि उनकी कार दुर्घटना में मौत हुई है. दूसरे व्यक्ति की पहचान सार्वजनिक नहीं की गई है. उसने कथित तौर पर अपने सारे कर्ज चुका दिये और आइएस में शामिल होने के लिए सीरिया की सीमा लांघने के लिए तुर्की जाने से पहले अपनी संपत्ति बांट दी थी. ये दोनों युवक मुसलिम समुदाय के हैं.
हालांकि, सरकारी सूत्रों ने इस पर टिप्पणी नहीं की है. इस कस्बे से काफी संख्या में युवाओं के आतंकी संगठन में भर्ती होने की चिंता के बीच ऐसा हुआ है. साप्ताहिक ने दावा किया कि उसे कम से कम 22 दक्षिण अफ्रीकियों के अबू धाबी तथा फिर तुर्की जाने की जानकारी है ताकि वे आइएस में शामिल होने की कोशिश कर सकें. उनमें से आधे लोगों को अधिकारियों ने वापस भेज दिया.