मन की बात पर भाजपा-महागंठबंधन में ठनी, EC में शिकायत पर भाजपा बोली उनके मन की बौखलाहट
नयी दिल्ली : बिहार विधानसभा चुनाव के मद्देनजर महागंठबंधन की ओर से एक प्रतिनिधिमंडल बुधवार को चुनाव आयोग से मुलाकात कर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के रेडियो कार्यक्र म मन की बात पर रोक लगाने की मांग की है. आज दोपहर इस मुद्दे पर चुनाव आयोग से भेंट करने के बाद कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने […]
नयी दिल्ली : बिहार विधानसभा चुनाव के मद्देनजर महागंठबंधन की ओर से एक प्रतिनिधिमंडल बुधवार को चुनाव आयोग से मुलाकात कर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के रेडियो कार्यक्र म मन की बात पर रोक लगाने की मांग की है. आज दोपहर इस मुद्दे पर चुनाव आयोग से भेंट करने के बाद कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने बताया कि चुनाव आयोग को हमने इस संबंध में एक ज्ञापन सौंपा है और मांग की है कि आगामी बीस सितंबर को पीएम मोदी के कार्यक्रम मन की बात को प्रसारित करने पर रोक लगायी जानी चाहिए. वहीं, राजद नेता मनोज झा ने कहा कि चुनाव आयोग पर हमें पूरा विश्वास है. हम लोगों की बात सुनने के बाद आयोग उचित निर्णय करेगा. महागंठबंधन की ओर से आयोग पहुंचे प्रतिनिधिमंडल में कांग्रेस के सुरजेवाला एवं राजद के मनोज झा के अलावे केसी मित्तल, केसी त्यागी व पवन वर्मा शामिल थे.
क्या हैं आरोप
कांग्रेस-जदयू-राजद के इन नेताओं का आरोप है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी मन की बात के जरिए राजनीति की बात करते हैं. बिहार में आचार संहिता लागू होने से आयोग को इस कार्यक्रम पर रोक लगानी चाहिये. संभवत: पीएम मोदी अगले रविवार को देश की जनता से मन की बात कर सकते हैं. लेकिन, आयोग ने मुताबिक जब तक मोदी के मन की बात से चुनाव के मॉडल कोड ऑफ कंडक्ट (आचार संहिता) का उल्लंघन नहीं होता है, तब तक इस पर प्रतिबंघ नहीं लगाया जा सकता.
मन की बात पर रोक संभव नहीं : चुनाव आयोग
सूत्रों के मुताबिक आयोग के सामने जब तक पीएम मोदी के मन की बात कार्यक्रम में बिहार चुनाव से जुड़ा कोई एलान या मुद्दा नहीं आता है, तब तक रोक लगाने का कोई मतलब नहीं है. अगर आचार संहिता के तोड़े जाने की कोई शिकायत आती है तो इसकी रिकॉर्डिंग और फैक्ट जुटाने के बाद ही कोई कार्रवाई संभव है.
मन की बात पर रोक की मांग पहले भी
पहले भी हरियाणा और दिल्ली चुनाव के दौरान कांग्रेस ने प्रधानमंत्री मोदी के मन की बात कार्यक्रम पर रोक लगाने की मांग की थी, जिसे आयोग ने खारिज कर दिया था. कांग्रेस ने कहा था कि मोदी मन की बात के जरिए वोटरों को गुमराह कर सकते थे, लेकिन आयोग को इस दौरान मन की बात में कोई आपित्तजनक बात नहीं मिली.
भाजपा ने बताया हास्यास्पद
भाजपा प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन ने महागंठबंधन के इस कदम को हास्यास्पद बताया और कहा कि कांग्रेस इसे बेवजह को मुद्दा बना रही है. उन्होंने कहा कि जनता इस बात का जवाब देगी.चुनाव आयोग में इसकी शिकायत किये जाने पर भाजपा प्रवक्ता संविद पात्रा ने इसे कांग्रेस व महागंठबंधन के मन की बौखलाहट बताया.
विकास एक्सप्रेस नामक ट्रेन पर भी रोक लगाने की मांग कर चुका हैं महागंठबंधन
इससे पहले चुनाव आयोग से मिलकर महागंठबंधन के दलों जदयू, राजद व कांग्रेस ने विकास एक्सप्रेस नामक ट्रेन पर रोक लगाने की मांग की थी. महागंठबंधन ने आरोप लगाया था कि इस ट्रेन के माध्यम से भाजपा स्वयं शासित राज्यों से अपने कार्यकर्ता को चुनाव अभियान के लिए बिहार पहुंचा रही है. कांग्रेस, जदयू व राजद का आरोप रहा है कि निजी चुनावी लाभ के लिए सरकारी संसाधनों का उपयोग नहीं किया जा सकता है. यह आदर्श चुनाव अंचार संहिता का उल्लंघन भी है.