लाहौर : पठानकोट आतंकवादी हमले में जांच में कोई प्रगति नहीं होने के चलते पाकिस्तान इस सिलसिले में भारत से और सबूत मांगने की योजना बना रहा है. पाकिस्तानी दैनिक डॉन की रिपोर्ट के अनुसार पठानकोट वायुसेना स्टेशन पर हमले की जांच कर रही पाकिस्तान सरकार की टीम पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय से कहेगी कि वह भारत से और सबूत मांगे.
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने कुछ ही दिन पहले कहा था कि पठानकोट वायुसेना स्टेशन पर हमले की जांच के नतीजे जल्द ही सार्वजनिक किए जाएंगे. जांच टीम के एक सूत्र ने बताया, ‘‘गेंद एक बार फिर भारत के पाले में चली गई है क्योंकि हमने जांच में आगे बढ़ने के लिए और सबूत मांगे हैं.” सूत्र ने कहा, ‘‘टीम ने भारत की ओर से प्रदान किए गए (पाकिस्तान से भारत में कॉल करने के लिए कथित रुप से उपयोग किए गए) पांच सेलफोन नंबरों की जांच तकरीबन पूरी कर ली है. इन नंबरों से आगे के कोई और सुराग नहीं मिले क्योंकि वे गैर पंजीकृत थे और उनकी पहचान फर्जी थी.”
सूत्र ने कहा, ‘‘जांच आगे नहीं बढ रही है. टीम को और सबूत की जरुरत है. इसलिए, इसने सरकार को लिखा है कि वह भारत से बात करे और उसे हालात से आगाह कराए और यहां जांच को आगे बढ़ाने के लिए और सबूत मांगे.” सूत्र ने पठानकोट आतंकवादी हमले के सिलसिले में हिरासत में लिए गए जैश-ए-मोहम्मद प्रमुख मौलाना मसूद अजहर समेत लोगों के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में कहा, ‘‘पहले भारत से ज्यादा सबूत आने दें.”
शरीफ ने भारत के इन आरोपों की जांच के लिए पंजाब के आतंकवाद निरोधी विभाग (सीटीडी) के अतिरिक्त महानिरीक्षक राय ताहिर के नेतृत्व में छह सदस्यों की एक जांच टीम गठित की थी कि पठानकोट आंतकवादी हमले के पीछे जैश का हाथ है. ताहिर की अध्यक्षता वाली यह टीम अब तक दो बैठकें कर चुकी है.
शरीफ ने कहा था कि पठानकोट आंतकवादी हमले में अतिरिक्त सूचना जमा करने पाकिस्तानी टीम भारत की भी यात्रा करेगी. शरीफ ने शनिवार को लाहौर में पत्रकारों को बताया था कि जांच चल रही है और उसके निष्कर्षों को सार्वजनिक किया जाएगा. ‘‘जो भी तथ्य सामने आएगा, हम उन्हें सभी के सामने लाएंगे.” उन्होंने कहा था कि पठानकोट आंतकवादी मामले में पाकिस्तानी सरजमीं के कथित उपयोग का पर्दाफाश करने के लिए पाकिस्तान किसी भी हद तक जा सकता है.
शरीफ ने कहा, ‘‘यह उजागर करना हमारी जिम्मेदारी है कि क्या हमारी सरजमीं का इस्तेमाल हमले में हुआ है. हम इसे करेंगे और जारी जांच जल्द ही पूरी होगी.” पठानकोट आतंकवादी हमले के संबंध में दो हफ्ते पहले हिरासत में लिए गए संदिग्धों को पाकिस्तानी कानून प्रवर्तन एजेंसियों ने अभी तक अदालत में पेश नहीं किया हे.
सरकार ने यह उजागर नहीं किया है कि इस हमले के सिलसिले में कितने संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है. पंजाब के कानून मंत्री राना सनाउल्ला ने बस यह पुष्टि की कि कुछ ‘‘सहयोगियों” के साथ अजहर को ‘‘एहतियाती हिरासत” में लिया गया है.” सनाउल्ला ने साफ किया, ‘‘उसे (अजहर को) गिरफ्तार नहीं किया गया है.”
भारत का कहना है कि अजहर इस हमले का सरगना है. उसका आरोप है कि अजहर का भाई रउफ और पांच अन्य भी पठानकोट में हुए आतंकवादी हमले में संलिप्त हैं. इस हमले में सभी छह आतंकवादियों और सात भारतीय सैनिकों की मौत हो गई थी. सूत्रों ने बताया कि खुफिया एजेंसयां भी इस हमले की अलग से जांच कर रही हैं. बहरहाल, जांच में प्रगति को ले कर सरकार की ओर से आधिकारिक रुप से कुछ नहीं कहा गया है. एक और 2 जनवरी की दरम्यानी रात को जैश-ए-मोहम्मद की ओर से कथित रुप से किए गए आतंकवादी हमले के तुरंत बाद भारत ने पाकिस्तान को ‘‘विशिष्ट और कार्रवाई योग्य सूचना” दे दी थी.