वाशिंगटन :अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा की दलाई लामा से प्रस्तावित मुलाकात पर चीन ने एतराज जताते हुए मंगलवार को कहा कि अमेरिका को ‘एक चीन’ की नीति का पालन करने के अपने वादे को निभाना चाहिए. चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लु कांग ने ओबामा से संभावित मुलाकात के संबंध में तिब्बती आध्यात्मिक नेता की टिप्पणी पर जवाब देते हुए संवाददाताओं से कहा कि 14वें दलाई लामा चीन को तोड़ने के अपने राजनीतिक रुख को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लाने के लिए अक्सर धर्म का सहारा लेते हैं.
आपको बता दें किअमेरिका के राष्ट्रपति बराक ओबामा चीन के विरोध को नजरअंदाज करते हुए आज व्हाइट हाउस में दलाई लामा से मुलाकात करेंगे. ओबामा के इस कदम के कारण निर्वासित तिब्बती धर्मगुरु को अलगाववादी मानने वाले चीन की त्योरियां चढ सकती हैं. राष्ट्रपति के कल जारी कार्यक्रम के अनुसार ओबामा आज व्हाइट हाउस में दलाई लामा से मुलाकात करेंगे.
यह मुलाकात व्हाइट हाउस के ‘मैप रुप’ में होगी जिसमें प्रेस को आने की अनुमति नहीं होगी। तिब्बती धर्मगुरु इस समय अमेरिका की यात्रा पर हैं. तिब्बती धर्मगुरु जब कभी अमेरिकी राजधानी में होते हैं तो अमेरिका के राष्ट्रपति आम तौर पर उनसे मुलाकात करते हैं. इससे पूर्व व्हाइट हाउस ने कहा था कि अमेरिका के राष्ट्रपति दलाई लामा के धार्मिक एवं आध्यात्मिक गुरु होने के कारण उनसे मुलाकात करते हैं.
हालांकि अमेरिका का मानना है कि तिब्बत चीन का अभिन्न हिस्सा है लेकिन दलाई लामा की अमेरिका के राष्ट्रपति के साथ हर मुलाकात बीजिंग को नाराज कर देती है. शीर्ष डेमोक्रेटिक नेता नैंसी पेलोसी ने कहा, ‘‘तिब्बतियों एवं विश्व भर के लोगों के लिए सम्मानजक होने के कारण परम पूजनीय हमें हमारी बडी जिम्मेदारी का एहसास कराते हैं कि हम मानवाधिकारों की रक्षा करने, समानता को प्रोत्साहित करने एवं पर्यावरण की रक्षा करने के लिए काम करें.’