अब पौधों के बीच जी रहे हैं कोलकाता के गौतम पंडा
जितेंद्र सिंह गढ़वा शहर में एक व्यापारी हैं गौतम पंडा. कोलकाता से आकर यहां पौधों का कारोबार करते थे. अब पौधों के बीच ही जीने लगे हैं. शहर के चिनिया मोड़ के समीप स्थित उनकी दुकान में जिले के विभिन्न प्रखंडों के लोग प्रतिदिन 200-300 पौधे खरीदने आते हैं. पंडा बताते हैं कि वह पौधों […]
जितेंद्र सिंह
गढ़वा शहर में एक व्यापारी हैं गौतम पंडा. कोलकाता से आकर यहां पौधों का कारोबार करते थे. अब पौधों के बीच ही जीने लगे हैं. शहर के चिनिया मोड़ के समीप स्थित उनकी दुकान में जिले के विभिन्न प्रखंडों के लोग प्रतिदिन 200-300 पौधे खरीदने आते हैं. पंडा बताते हैं कि वह पौधों को कमाई का जरिया बनाने के लिए गढ़वा आये थे. लेकिन, ग्लोबल वार्मिंग के बाद सरकार द्वारा पर्यावरण संरक्षण को लेकर व्यापक तौर पर पौधरोपण का अभियान चलाया जाने लगा, तो उन्होंने भी खुद को इससे जोड़ने का मन बना लिया.
इसलिए, अब पौधों के बीच ही जीवन बसर कर रहे हैं. पहले वह िसर्फ सीजन में आते थे. पौधे बेचते थे और वापस अपने घर लौट जाते थे. लेकिन, हाल के दिनों में झारखंड सरकार और यहां के समाज में पर्यावरण प्रदूषण से निबटने की चेतना देख कर वह बेहद प्रभावित हुए और तय किया कि यहीं, पौधों के बीच ही जीवन बितायेंगे. व्यापारिक दृष्टिकोण से भी यह उनके लिए फायदेमंद साबित हुआ. विभिन्न सामािजक संगठनों के लोग उनकी दुकान से पौधे खरीदते हैं. चूंकि, ये लोग पर्यावरण को बचाने के लिए पौधरोपण का अभियान चलाते हैं, पंडा इन संस्थाओं को पौधे बेहद किफायती दर पर उपलब्ध करवाते हैं. गौतम पंडा लोगों और संस्थाओं को पौधे लगाने और उनके रख-रखाव की भी जानकारी देते हैं.
फल-फूल व शो-प्लांट की कई प्रजातियां
गौतम पंडा के पास उपलब्ध पौधों की कीमत 20 रुपये से लेकर 500 रुपये तक है. इनमें फूल की 300 से अधिक प्रजातियां हैं. आम, अमरूद, नींबू, पपीता, अंगूर, सेव, नाशपाती व अन्य फलों की 100 किस्में भी उपलब्ध हैं. शो प्लांट के आउटडोर व इंटीरियर प्लांट के 100, मेडिसीन प्लांट की कई किस्मों के अलावा हैंगिंग प्लांट एवं सब्जी की कई किस्में भी उनकी दुकान में मौजूद हैं.