रियो ओलंपिक : 36 साल बाद सेमीफाइनल में पहुंचने उतरेगा भारत

रियो डि जिनेरियो : ओलंपिक में पिछले 36 वर्षों में अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन से एक जीत दूर भारतीय पुरुष हाकी टीम रियो खेलों में कल यहां मजबूत बेल्जियम के खिलाफ होने वाले क्वार्टर फाइनल में अपनी गलतियों को दूर करके वर्षों बाद नया मुकाम हासिल करने के लिये उतरेगी. भारत पहले ही ओलंपिक के नाकआउट […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 13, 2016 5:19 PM

रियो डि जिनेरियो : ओलंपिक में पिछले 36 वर्षों में अपने सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन से एक जीत दूर भारतीय पुरुष हाकी टीम रियो खेलों में कल यहां मजबूत बेल्जियम के खिलाफ होने वाले क्वार्टर फाइनल में अपनी गलतियों को दूर करके वर्षों बाद नया मुकाम हासिल करने के लिये उतरेगी. भारत पहले ही ओलंपिक के नाकआउट में पहुंचकर एक उपलब्धि हासिल कर चुका है और अब कल पी आर श्रीजेश की अगुवाई वाली टीम ओलंपिक पदक की अपनी उम्मीदों को पंख लगाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेगी.

भारत ने पूल बी दो जीत, दो हार और एक ड्रा से सात अंक के साथ चौथे स्थान पर रहकर अंतिम आठ में जगह बनायी. लीग चरण में भारत ने आयरलैंड ( 3-2 ) और अर्जेंटीना ( 2-1 ) को हराया लेकिन मौजूदा ओलंपिक चैंपियन जर्मनी ( 1-2 ) और रजत पदक विजेता नीदरलैंड ( 1-2 ) से उसे हार झेलनी पड़ी. कनाडा जैसी कमजोर टीम के खिलाफ उसने मैच 2-2 से ड्रा खेला. दूसरी तरफ से बेल्जियम पूल ए में पांच मैचों में चार जीत से शीर्ष पर रहा.

उसे केवल अंतिम लीग मैच में न्यूजीलैंड ( 1-3 ) से हार का सामना करना पडा. विश्व रैंकिंग पर गौर करें तो इन दोनों टीमों में कोई खास अंतर नहीं है. भारत जहां पांचवें स्थान पर है वहीं बेल्जियम उससे एक पायदान नीचे छठे स्थान पर है. लेकिन ओलंपिक में बेल्जियम ने अभी तक शानदार फार्म दिखायी है और उसने पूल चरण में स्वर्ण पदक के दावेदार और विश्व चैंपियन आस्ट्रेलिया को भी हराया. इसके अलावा बेल्जियम ने स्पेन, ग्रेट ब्रिटेन और ब्राजील को पराजित किया.

दूसरी तरफ भारत का अभियान उतार चढ़ाव वाला रहा है. उसने हालांकि अपने पहले चार मैचों में आक्रामक खेल का प्रदर्शन किया लेकिन अंतिम क्षणों में छोटी छोटी गलतियों का उसे खामियाजा भी भुगतना पडा. जर्मनी के खिलाफ भारत ने अंतिम हूटर बजने से केवल तीन सेकेंड पहले गोल गंवाया जबकि नीदरलैंड के खिलाफ भी उसने चौथे क्वार्टर के अंतिम क्षणों में पेनाल्टी कार्नर गंवाया और डच टीम ने इसका फायदा उठाने में कोई गलती नहीं की.

इन हार के बावजूद भारत का शीर्ष टीमों के खिलाफ प्रदर्शन उत्साहजनक रहा है लेकिन कनाडा के खिलाफ आखिरी मैच में उन्होंने लचर खेल दिखाया. भारत को इस मैच में जीत का दावेदार माना जा रहा था लेकिन विश्व में 15वें नंबर के कनाडा ने उसे जीत का मौका नहीं दिया और भारतीय टीम को अंक बांटने पड़े. इस मैच भी भारतीयों ने कुछ बेवजह की गलतियां की जिससे वह दो बार बढ़त हासिल करने के बावजूद पूरे अंक हासिल नहीं कर पाया. यदि भारत को कल बेल्जियम हराना है तो उसे इन गलतियों से बचना होगा क्योंकि रेड लायन्स ऐसी किसी भी गलती का पूरा फायदा उठाने में कोई कसर नहीं छोडेगा.

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