बीजिंग : चीन ने आज कहा कि वह ताइवान से कूटनीतिक संबंध खत्म करने के साओ टोमे एंड प्रिंसिपे के फैसले का स्वागत करता है. यह घटनाक्रम ऐसे समय हुआ है जब अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने स्व-शासन वाले द्वीप को लेकर वाशिंगटन की नीति पर सवाल उठाए हैं.
छोटे से पश्चिमी अफ्रीकी देश ने 1997 में चीन के साथ अपने संबंध निलंबित कर दिए थे जब इसने ताइवान को आधिकारिकरूप से मान्यता देने का विकल्प चुना था. ताइवान 1949 में गृहयुद्ध के बाद चीन से अलग हो गया था.
बीजिंग बार-बार कहता रहा है कि द्वीप उसका हिस्सा है और वह उसके फिर से एक होने की प्रतीक्षा कर रहा है.
चीन और ताइवान के बीच मई में त्साई इंग वेन के ताइवानी राष्ट्रपति बनने के बाद से तनाव बढ गया है जो स्वतंत्रता समर्थक डेमोक्रेरटिक प्रोग्रेसिव पार्टी की मुखिया हैं.
इस तनाव को लेकर ट्रंप ने बीजिंग को तब नाराज कर दिया जब इस महीने केशुरू में उन्होंने कहा कि वह चीन से कारोबारी सौदे हासिल करने के लिए द्वीप की मान्यता के मुद्दे को सौदेबाजी केरूप में इस्तेमाल कर सकते हैं.
चीनी विदेश मंत्रालय ने अपनी वेबसाइट पर एक बयान में कहा, ‘‘हम ‘एक चीन’ के सिद्धांत के संबंध में साओ टोमे एंड प्रिंसिपे के फिर से सही रास्ते पर आने का स्वागत करते हैं.’