जिनेवाः उत्तर कोरिया पर लगे प्रतिबंधों के उल्लंघन की जांच कर रहे संयुक्त राष्ट्र के विशेषज्ञों पर अज्ञात लोगों ने साइबर हमला किया है. एक ई-मेल के जरिये जो चेतावनी जारी की गयी है, उसमें कहा गया है कि हैकरों ने विशेषज्ञों के कम्प्यूटर से विस्तृत जानकारियां चुरा ली हैं.
बताया जाता है कि आठ मई, 2017 को हैकरों ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की उत्तर कोरिया पर प्रतिबंध लगानेवाली समिति, जिसे 1718 कमेटी के नाम से जाना जाता है, के एक विशेषज्ञ के कम्प्यूटर को हैक किया गया. कमेटी के चेयरमैन ने संयुक्त राष्ट्र को ई-मेल के जरिये यह जानकारी दी.
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आठ मई को भेजे गये इस ई-मेल में चेयरमैन ने लिखा है कि एक बेहद व्यक्तिगत मैसेज के रूप में जांच दल के कई सदस्यों को जिप फाइल भेजी गयी. इससे लगता है कि हैकर को जांच कर रहे पैनल और उसकी कार्यप्रणाली के बारे में बहुत कुछ मालूम है.
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विशेषज्ञों के पैनल के अध्यक्ष ने लिखा कि 1718 कमेटी के कई सदस्यों को एक साथ उसी तरह से निशाना बनाया गया, जैसे वर्ष 2016 में हुआ था. उन्होंने आगे लिखा है, ‘मैं आपको यह लिख रहा हूं, ताकि आप सचेत हो जायें और सुरक्षा को और कड़ी करें. यह हमला ‘सस्टेंड साइबर कैंपेन’ का हिस्सा है.’
संयुक्त राष्ट्र ने की उत्तर कोरिया के परीक्षणों की निंदा
अब तक यह पता नहीं चल पाया है कि यह काम किसने किया होगा. लेकिन, संयुक्त राष्ट्र द्वारा उत्तर कोरिया के मिसाइल परीक्षण की आलोचना के तत्काल बाद हुई इस घटना को उत्तर कोरिया से भी जोड़ कर देखा जा रहा है.
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हालांकि, मीडिया रिपोर्ट्स में कहा गया है कि उत्तर कोरिया की मुख्य खुफिया एजेंसी में एक स्पेशल सेल है. इस स्पेशल सेल को ‘यूनिट 180’ के नाम से जाना जाता है. माना जा रहा है कि उत्तर कोरिया के इसी सेल ने यह हमला किया होगा.
ज्ञात हो कि वर्ष 2006 में संयुक्त राष्ट्र ने सबसे पहले उत्तर कोरिया पर पहली बार प्रतिबंध लगाये थे, जब इस देश ने पांच परमाणु बम और लंबी दूरी के दो राॅकेट का परीक्षण किया था. साथ ही धमकी दी थी कि प्योंग्यांग छठा परमाणु परीक्षण भी करेगा.