डिप्लोमैटिक प्रोपेगंडा का इस्तेमाल हो

रिटायर्ड ब्रिगेडियर आरपी सिंह पाकिस्तान के संबंध में हमें कई पक्षों पर काम करना पड़ेगा, जिसमें डिप्लोमैटिक, सैन्य, आर्थिक, राजनीतिक और जल की साझेदारी आदि शामिल है. पाकिस्तान एक आतंकवादी देश है, इसलिए हमें संयुक्त राष्ट्र जैसे मंचों पर उसे हाशिये पर करने के लिए कार्रवाई करनी होगी. जिन देशों से हमारे संबंध अच्छे हैं […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 17, 2019 8:46 AM
रिटायर्ड ब्रिगेडियर आरपी सिंह
पाकिस्तान के संबंध में हमें कई पक्षों पर काम करना पड़ेगा, जिसमें डिप्लोमैटिक, सैन्य, आर्थिक, राजनीतिक और जल की साझेदारी आदि शामिल है.
पाकिस्तान एक आतंकवादी देश है, इसलिए हमें संयुक्त राष्ट्र जैसे मंचों पर उसे हाशिये पर करने के लिए कार्रवाई करनी होगी. जिन देशों से हमारे संबंध अच्छे हैं , हमें उनकी सहायता से पाकिस्तान को अलग-थलग कर देना चाहिए. इसके लिए, डिप्लोमैटिक क्षमता के द्वारा पाकिस्तान के व्यापार संबंधों को बांधा जा सकता है.
आज तक पाकिस्तान ने क्या-क्या किया है, इसका चिट्ठा सबको देना चाहिए. मित्र देशों की मदद से पाकिस्तान का सारा सहयोग बंद कराना चाहिए.
पाकिस्तान के खिलाफ डिप्लोमैटिक प्रोपेगंडा का इस्तेमाल कर सकते हैं और उसके खिलाफ देश को तैयार किया जा सकता है. सैन्य कार्रवाइयों के लिए हमारे पास कई विकल्प हैं.
पाकिस्तान में भी लोग परेशान, बेचैन रहते हैं, खासकर बलूचिस्तान, पीओके, सिंध, खैबर-पख्तून क्षेत्र जैसी जगहों पर असंतुष्ट लोगों को हम भड़का सकते हैं, उन्हें ट्रेनिंग दे सकते हैं, हथियार दे सकते हैं. अफगानिस्तान के रास्ते इन जगहों पर पहुंचना बहुत आसान है. इन जगहों पर भी अलगाववादी हैं, गुलामी में जी रहे लोग हैं. इन लोगों का इस्तेमाल करके हम भी वही कर सकते हैं, जो पाकिस्तान हमारे साथ करता है. सिंध, बलूचिस्तान के इलाकों में माइंस का इस्तेमाल करके उनकी टुकड़ियां उड़ा सकते हैं.
इन सबके अतिरिक्त, इस्राइल की कामयाब इंटेलिजेंस एजेंसी मोसाद को शामिल करके आतंकवादियों के सरगना हाफिज सईद, अजहर मसूद को मरवाया जा सकता है.
किसी भी रडार में न दिखनेवाले ड्रोन का इस्तेमाल करके, ड्रोन हमले कराये जा सकते हैं. और सबसे बढ़ कर, सर्जिकल स्ट्राइक का विकल्प तो हमारे सामने है ही. पाकिस्तान के जिन इलाकों में पोस्ट कमजोर हैं, सीमा पार जाकर उन पर हमला किया जा सकता है. बांध का निर्माण करके पाकिस्तान में पानी की सप्लाई बंद कर उसे मजबूर किया जा सकता है.

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