एक ही जगह जमा करें अपने सभी बिल

शुरुआत डिजिटल भारत की ओर बढ़ता अगला कदम भारत बिल पेमेंट सिस्टम भारतीय रिजर्व बैंक ने नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के साथ मिल कर भारत बिल पेमेंट सिस्टम (बीबीपीएस) की शुरुआत की है. इसके तहत अब आप बिजली-पानी के बिल से लेकर स्कूल फीस और क्रेडिट कार्ड के बिल का भुगतान एक ही जगह […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 28, 2016 5:46 AM
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शुरुआत डिजिटल भारत की ओर बढ़ता अगला कदम भारत बिल पेमेंट सिस्टम
भारतीय रिजर्व बैंक ने नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के साथ मिल कर भारत बिल पेमेंट सिस्टम (बीबीपीएस) की शुरुआत की है. इसके तहत अब आप बिजली-पानी के बिल से लेकर स्कूल फीस और क्रेडिट कार्ड के बिल का भुगतान एक ही जगह पर कर सकते हैं. आइए जानें-
अब आपको बिजली-पानी का बिल, गैस, मोबाइल, डीटीएच, बिजली और टेलिफोन बिल, म्युनिसिपैलिटी बिल, बच्चों की स्कूल फीस, क्रेडिट कार्ड बिल का भुगतान करने के लिए अलग-अलग जगहों पर जाने की जरूरत नहीं. एनपीसीआइ (नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया) ने भारतीय रिजर्व बैंक के साथ मिल कर भारत बिल पेमेंट सिस्टम (बीबीपीएस) शुरुआत कर दी है, जिसके जरिये आप अपने सभी बिलों का भुगतान एक ही जगह पर कर सकते हैं.
इसके लिए एनपीसीआइ ने कई बैंकिंग और नॉन-बैंकिंग कंपनियों के साथ टाई-अप किया है. इसके साथ ही बिल डेस्क, टेक प्रोसेस, ऑक्सीकैश जैसी कंपनियां भी भारत बिल पेमेंट आउटलेट्स खोलेंगी. नये पेमेंट सिस्टम में उपभोक्ता कभी भी किसी भी सर्विस के लिए कहीं से भी पेमेंट कर पायेंगे.
भारत बिल पेमेंट सर्विस के काम को जानने के लिए पहले हमें यह समझना होगा कि अब तक उपभोक्ता या तो सरकारी विभाग या निजी कंपनियों की वेबसाइट पर लॉग इन करके पेमेंट करता रहा है. इस सर्विस में आपको पहले भारत बिल पेमेंट सर्विस पर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना होगा. रजिस्ट्रेशन के बाद आप सभी बिलों का भुगतान इस सर्विस पर जाकर कर सकते हैं.
खास बात यह है कि इन पेमेंट्स के लिए आप डेबिट, क्रेडिट कार्ड, मोबाइल वॉलेट, मोबाइल बैंकिंग, नेट बैंकिंग का इस्तेमाल कर कर सकते हैं. इसका मतलब यह हुआ कि अपने यूटिलिटी बिल्स का भुगतान करने के लिए अब आपको न अलग-अलग वेबसाइट्स पर विजिट करना होगा और न ही तरह-तरह के ऐप्स को अपने मोबाइल फोन में डाउनलोड करना पड़ेगा. अब केवल बीबीपीएस के ऐप को डाउनलोड कर आप लगभग सारे यूटिलिटी बिल्स का भुगतान कर सकते हैं. एनपीसीआइ के एमडी और सीइओ एपी होता बताते हैं कि इस सिस्टम से सारे बिलर्स एक ऐप से जुड़ जायेंगे, जिससे लोगों को पेमेंट करने में आसानी होगी.
ताजा स्थिति के अनुसार 62 कंपनियों अथवा इकाइयों को बीबीपीएस के तहत संचालन इकाई के तौर पर रिजर्व बैंक से मंजूरी मिल चुकी है. इसमें 52 बैंक हैं, जबकि 10 गैर-बैंकिंग इकाइयां हैं.
बीबीपीएस से फिलहाल जो बैंक जुड़े हैं, उनमें स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, आइसीआइसीआइ, आइडीबीआइ, एक्सिस बैंक, एचडीएफसी बैंक, इंडसइंड बैंक, कोटक महिंद्रा बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, पीएमसी बैंक, आरबीएल बैंक जैसे प्रमुख नाम शामिल हैं. इसके अलावा, ऐप से जोड़ी गयीं वॉलेट कंपनियों में पेटीएम, बिलडेस्क, कॉमन सर्विस सेंटर, ऑक्सीजेन, पेयू पेमेंट, स्पाइस डिजिटल, टेक प्रॉसेस पेमेंट सर्विस लिमिटेड, इट्ज कैश कार्ड, यूरोनेट शामिल हैं.
इट्ज कैश के प्रबंध निदेशक नवीन सूर्या बताते हैं कि यह सिस्टम ‘कभी भी, कहीं भी’ की अवधारणा का बढ़िया उदाहरण पेश करेगा, ताकि ग्राहक पूरे देश में इसके रिटेल प्वाइंट्स से क्रेडिट कार्ड, डेबिट कार्ड, मोबाइल वॉलेट और नेट बैंकिंग (आइएपीएस, एनइएफटी) के माध्यम से बिलों का भुगतान कर सकें. इन बीबीपीएस आउटलेट्स में बैंक, एटीएम्स, बिजनेस कियोस्क आदि को भी शामिल किया जायेगा और भुगतान एनपीसीआइ नेटवर्क के माध्यम से सुरक्षित रूप से किया जायेगा. इसके अलावा अधिकृत संस्थाओं के माध्यम से बीबीपीए एजेंट्स, पेमेंट गेटवे, बैंक बिलर, सेवा प्रदाता और अन्य संस्थाओं को भुगतान सेवाओं की पेशकश प्रदान करेगा. बीबीपीएस मौजूदा नेटवर्कों की परस्पर निर्भरता लायेगा, सेवा प्रदाताओं को एकजुट करेगा तथा एक एकीकृत इकोसिस्टम का निर्माण करेगा, जो डिजिटल भारत की ओर बढ़ता अगला कदम है.
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