डिवाइन रिलेशंस भरेगा जीवन में रंग

गंभीर बीमारी से मुक्त हुए लोगों के लिए वैवाहिक वेबसाइट विवेक शर्मा अमूमन गंभीर बीमारी से रोगमुक्त होने के बाद भी हजारों लोग ऐसे हैं, जिनका घर बस नहीं पाता है. वे अविवाहित रह जाते हैं. अवसाद और अकेलेपन से जूझ रहे एेसे लोगों के जीवन में रंग भरने के लिए एक वैवाहिक वेबसाइट उम्मीद […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 30, 2016 9:02 AM
गंभीर बीमारी से मुक्त हुए लोगों के लिए वैवाहिक वेबसाइट
विवेक शर्मा
अमूमन गंभीर बीमारी से रोगमुक्त होने के बाद भी हजारों लोग ऐसे हैं, जिनका घर बस नहीं पाता है. वे अविवाहित रह जाते हैं. अवसाद और अकेलेपन से जूझ रहे एेसे लोगों के जीवन में रंग भरने के लिए एक वैवाहिक वेबसाइट उम्मीद बनकर आयी है. पढ़िए एक रिपोर्ट.
कोई पांच साल पहले की बात है. बेंगलुरु में रहनेवाले विजय कुमार जुंजा को पता चला कि वह मुंह का कैंसर रोग का शिकार हो गये हैं. जैसे ही यह जानकारी उन्हें मिली, उनको लगा कि दुनिया ही उजड़ गयी. इलाज कराना शुरू किया. डॉक्टर को शुक्रिया कहिए कि वे कुछ दिनों में इस बीमारी से मुक्त हो गये. आज वे सफल उद्यमी हैं. उनका एक रेस्टोरैंट भी है. अब वे कोई दवा भी नहीं लेते हैं. हालांकि उनके चेहरे पर एक दाग रह गया था, जो सर्जरी की वजह से था. चेहरे पर रह गये इस एक दाग ने उन्हें एक नयी मुसीबत में डाल दिया था, उनकी शादी नहीं हो पा रही थी. किसी मैट्रिमोनियल एजेंसी या वेबसाइट के जरिये उन्हें कोई वधू मिल पायेगी, यह उम्मीद छोड़ दी थी. मगर उन्होंने कोशिश नहीं छोड़ी. कुछ दिनों के बाद उनकी नजर एक वेबसाइट पर पड़ी, जिसका नाम है- ‘डिवाइन रिलेशंस’.
इस वेबसाइट ने फिर से विजय की उम्मीदें बढ़ा दी हैं.
यह वेबसाइट विवाह के लिए ऐसे लोगों को विकल्प उपलब्ध कराता है, जो किसी गंभीर बीमारी के शिकार रह चुके हैं और शादी की आकांक्षा रखते हैं. विजय बताते हैं – “ मैंने डिवाइन रिलेशंस पर अपना रजिस्ट्रेशन करा लिया है. अब बेहतर प्रस्ताव की प्रतीक्षा कर रहा हूं. कोई तो होगा, जिसकी दिलचस्पी मेरे चेहरे में नहीं, मेरे दिल में होगी. कोई तो होगा, जो ऐसे ही अनुभवों से गुजर चुका होगा, वह मेरी भावनाओं को समझ सकेगा.
मुझे उम्मीद है, वह दिन जरूर आयेगा. ”वैवाहिक वेबसाइट ‘डिवाइन रिलेशंस’ के संस्थापक हैं- विवेक शर्मा. वह मार्केटिंग प्रोफशनल हैं. मेडिकल फील्ड में काम करने का लंबा अनुभव है. अपने कैरियर में गंभीर बीमारियों का सामना करते ढेर सारे मरीजों को देखा है. सिपला, फाइजर, नोवार्टिस और सनोफी जैसी कंपनियों में काम करने के दौरान सांस की बीमारी, हृदय रोग, कैंसर, हीमाटोलोजी, थैलेसीमिया, अंग प्रत्यारोपण और डायलिसिस के क्षेत्र में काम किया. विवेक शर्मा बताते हैं- “ लोगों को गंभीर बीमारियों से जूझतेदेख कर अक्सर मेरा मन भी दुखी हो जाता था. जब मैं मुंबई के नेफ्रोलॉजिस्ट डॉ हेमलाल शाह और पुणे के एक कैंसर विशेषज्ञ डॉक्टर से मिला तो इस वेबसाइट को बनाने का आइडिया आया.
दोनों ही डाक्टरों से बातचीत के दौरान एक ही बात सामने उभर कर आयी कि जो मरीज गंभीर बीमारी से ग्रस्त हैं, उनके उपचार के बाद भी शादी के लिए उन्हें उचित प्रस्ताव नहीं मिल पा रहा है, यानी उपयुक्त वर या वधू ढूंढ़ पाने में दिक्कत हो रही है. उन दोनों डाक्टरों ने मुझे ऐसे सैकड़ों मरीजों के बारे में बताया जो बीमारी से मुक्त होने के बाद भी अविवाहित हैं. इन बातों ने मुझ पर गहरा असर डाला. और इस तरह ‘डिवाइन रिलेशंस’ का जन्म हुआ.”
विवेक इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट, कोलकाता के छात्र रहे हैं. हाल ही में उन्होंने ‘मिकी अमोघ फाउंडेशन’ नामक एक संस्था बनायी है. उनकी निजी जिंदगी में एक ट्रेजडी हो गयी थी. वर्ष 2014 में उनका इकलौता बेटा अमोघ इस दुनिया में नहीं रहा. उसकी बीमारी डायग्नोस ही नहीं हो पायी. इस घटना ने विवेक की जिंदगी बदल दी.
‘डिवाइन रिलेशंस’ के बारे में विवेक बताते हैं कि यह वेबसाइट पूरी तरह सुरक्षित है. इस पर रजिस्टर होने के लिए आइडेंटिटी प्रूफ देना होता है. एक बार प्रोफाइल बन गया, तो आप दूसरे यूजर का सक्षिप्त प्रोफाइल देख सकते हैं. कोई भी यूजर दूसरे यूजर को कनेक्ट होने के लिए रिक्वेस्ट भेज सकता है. अगर यूजर ने अनुमति दे दी तो दोनों यूजर आपस में कनेक्ट हो सकते हैं.
इस वेबसाइट के बारे में डाक्टरों और मेडिकल सोशल वर्करों को जानकारी दी जा रही है, क्योंकि उनका सामना ऐसे लोगों से सबसे ज्यादा होता है. वे मरीजों को इस वेबसाइट के बारे में जानकारी जरूर देंगे. आखिर किसी की जिंदगी की खुशियों का सवाल है.हालांकि इस वेबसाइट को अभी तक कोई सक्सेेस स्टोरी नहीं मिली है. मगर विवेक आशावान हैं कि जल्दी ही अच्छी खबर मिलेगी. आप चाहें तो ‘डिवाइन रिलेशंस’ की वेबसाइट http://www.divinerelations.in/ पर जा सकते हैं.

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