फर्गुसन (अमेरिका) : अमेरिका के मिसोरी में एक श्वेत पुलिस अधिकारी की गोली से एक निहत्थे अश्वेत किशोर की मौत से भडके दंगों के बाद लगे कर्फ्यू का फर्गुसन में प्रदर्शनकारियों ने आज तडके उल्लंघन किया जबकि पुलिस ने उन्हें तितर-बितर करने के लिए धुंआ बम और आंसू गैस के गोले दागे.
पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झडपों के बाद मिसोरी के गवर्नर जय निक्सन ने कल मध्यरात्रि (अंतरराष्ट्रीय समयानुसार रविवार सुबह 5 बजे) फर्गुसन के सेंट लुई उपनगर में कर्फ्यू लगा दिया. पुलिस ने 9 अगस्त को यहीं 18 वर्षीय माइकल ब्राउन को गोली मारी थी जिसके बाद वह मर गया था.
आज जब कर्फ्यू आरंभ हुआ तो फर्गुसन में कुल मिला कर शांति थी, लेकिन प्रदर्शनकारियों की भीड उस इलाके में जमा हुई जहां ब्राउन को गोली मारी गई थी. भीड ने तितर-बितर होने से इनकार कर दिया.
हथियारों से पूरी तरह लैस दंगा पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर धुआं और आंसू गैस के गोले दागे. दंगा पुलिस की मदद के लिए बख्तरबंद गाडियों पर कुमुक आई थी.
मिसोरी हाइवे पैट्रोल कैप्टन रोन जानसन ने बताया कि तितर-बितर नहीं होने वाले सात लोगों को गिरफ्तार किया गया है. जानसन अफ्रीकी मूल के अधिकारी हैं जिन्हें गवर्नर निक्सन ने फर्गुसन में शांति बहाल करने की जिम्मेदारी सौंपी है.
उन्होंने बताया कि गोलीबारी की एक शिकार हुई है जिसकी मौत हो सकती है. गवर्नर निक्सन ने कल एक स्थानीय चर्च में संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि जब लुटेरों ने दुकानों को लूटना और पुलिस के साथ हाथापाई करना शुरु कर दिया तो उन्होंने ‘‘फर्गुसन के लोगों और संपत्ति की सुरक्षा’’ के लिए आपातकाल की घोषणा की.
अश्वेत बहुल इलाके में ब्राउन की मौत के लिए जिम्मेदार श्वेत पुलिस की जवाबदेही तय नहीं होने से नाराज स्थानीय लोगों ने इस दौरान बार बार टोकाटाकी की.
एक स्थानीय व्यक्ति ने ब्राउन को गोली मारने वाले श्वेत अधिकारी का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘माफ करें, गवर्नर साहिब, आपको पुलिस अधिकारी पर हत्या का आरोप लगाने की जरुरत है.’’ इसपर भीड ने ‘हां’ की हुंकार भरी.
एक और ने जांच की मांग की. चर्च हाल में लोगों के चेहरे पर गुस्सा और हताशा स्पष्ट रुप से झलक रही थी.