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पीएम मोदी के पेरिस पहुंचने से पहले फ्रांस ने दिया झटका, पी-75 आई पनडुब्बी प्रोजेक्ट में नहीं होगा शामिल

फ्रांसीसी कंपनी नेवल ग्रुप ने भारत को बड़ा झटका दिया है. फ्रांसीसी नेवल ग्रुप ने कहा है कि वह रिक्वेस्ट फॉर प्रपोजल यानी आरएफपी की शर्तें पूरी नहीं कर सकता है, जो कि एयर इंडिपेंडेंट प्रोपल्शन सिस्टम (एपीआइ प्रणाली) से संबद्ध है, इसलिए वह इस प्रोजेक्ट से पीछे हट रहा है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी यूरोप दौरे पर हैं. यूरोप के कई देशों के राष्ट्रनायकों से पीएम मोदी मुलाकात कर रहे हैं. इस दौरान, पीएम मोदी फ्रांस भी जाएंगे, लेकिन फ्रांस दौरे से पहले फ्रांसीसी कंपनी नेवल ग्रुप ने भारत को बड़ा झटका दिया है. दरअसल, फ्रांसीसी नेवल ग्रुप ने मंगलवार को घोषणा की कि वह भारत के पी-75आइ प्रोजेक्ट का हिस्सा नहीं बन पायेगा. इस प्रोजेक्ट के तहत भारतीय नौसेना के लिए छह पारंपरिक पनडुब्बियों का निर्माण किया जाना था.

इस 43,000 करोड़ रुपये के प्रोजेक्ट के लिए शॉर्टलिस्ट किये गये पांच अंतरराष्ट्रीय समूहों में से फ्रांस का डिफेंस नेवी समूह भी एक है. इस प्रोजेक्ट का हिस्सा बनने से इनकार करते हुए फ्रांसीसी नेवल ग्रुप ने कहा है कि वह रिक्वेस्ट फॉर प्रपोजल यानी आरएफपी की शर्तें पूरी नहीं कर सकता है, जो कि एयर इंडिपेंडेंट प्रोपल्शन सिस्टम (एपीआइ प्रणाली) से संबद्ध है, इसलिए वह इस प्रोजेक्ट से पीछे हट रहा है.

इससे पहले, डेनमार्क की यात्रा पर मंगलवार को कोपेनहगेन पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने डेनमार्क की पीएम मेटे फ्रेडरिक्सन के साथ मुलाकात में भारत-यूरोपीय संघ मुक्त व्यापार समझौते के जल्द पूरा होने की बात कही. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमारे दोनों देश लोकतंत्र, अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता, और कानून के शासन जैसे मूल्यों को तो साझा करते ही हैं; साथ में हम दोनों की कई ऐसी ताकते हैं, जो दोनों देशों को एक-दूसरे का पूरक बनाती हैं.

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि 200 से अधिक डेनिश कंपनियां भारत में विभिन्न क्षेत्रों में काम कर रही हैं, जैसे- पवन ऊर्जा, शिपिंग, कंसल्टेंसी, इंजीनियरिंग आदि. इन्हें भारत में बढ़ते ईज ऑफ डूइंग बिजनेस और हमारे व्यापक आर्थिक सुधारों का लाभ मिल रहा है. भारत के इंफ्रास्ट्रक्चर सेक्टर और ग्रीन इंडस्ट्रीज में डेनिश कंपनीज और डेनिश पेंशन फंड के लिए निवेश के बहुत अवसर हैं. आपके खूबसूरत देश में मेरी ये पहली यात्रा है और अक्तूबर में मुझे आपका स्वागत करने का मौका मिला. इन दोनों यात्राओं से हमारे संबंधों में निकटता आयी है.

भारत-नॉर्डिक समिट में शामिल हुए मोदी

प्रधानमंत्री मोदी ने मंगलवार को दूसरे भारत-नॉर्डिक समिट में हिस्सा लिया. इस बार डेनमार्क ने इसकी मेजबानी की. नॉर्डिक देश वे हैं, जो उत्तरी यूरोप का हिस्सा हैं. इसमें डेनमार्क, फिनलैंड, आइसलैंड, नॉर्वे और स्वीडन शामिल हैं. समिट के दौरान पीएम मोदी ने आइसलैंड की पीएम कैटरीन जैकब्सडॉटिरो, नार्वे के पीएम जोनास गहर स्टोर, स्वीडन की पीएम मैग्डेलेना एंडरसन और फिनलैंड की पीएम सना मारिन से मुलाकात की.

बता दें कि पहला भारत-नॉर्डिक समिट साल 2018 में स्वीडन के स्टॉकहोम में हुआ था. दूसरा समिट जून 2021 में होना था, लेकिन फिर इसे टाल दिया गया था. इस कार्यक्रम का महत्व इस बात से समझा जा सकता है कि भारत के अलावा सिर्फ अमेरिका ही ऐसा देश है जिसके साथ नॉर्डिक देश समिट स्तर पर बातचीत करते हैं.

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