नेपाल के काठमांडू में रविवार की सुबह भूकंप के झटके महसूस किए गए. नेशनल सेंटर फॉर सीस्मोलॉजी के अनुसार भूंपक की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 5.5 मापी गई. यह झटका नेपाल से 147 किमी पूर्व दक्षिण पूर्व में सुबह के 07 बजकर 58 मीनट पर महसूस किए गए.
Earthquake tremors felt in Kathmandu, Nepal
An earthquake of magnitude 5.5 on the Richter scale occurred 147 km east-southeast of Kathmandu, Nepal at 0758 hours: National Center for Seismology
— ANI (@ANI) July 31, 2022
भूकंप का केंद्र नेपाल की राजनधानी काठमांडू था. रविवार की सुबह जब लोग अपने घरों में चैन की निंद सो रहे थे, तब यह झटके महसूस किए गए. छुट्टी का दिन होने के कारण ज्यादातर लोग अपने-अपने घरों में थे. वहीं, भूकंप के झटके महसूस होने पर लोगों में हड़कंप मच गया. लोग अपने घरों से बाहर निकल गए. जानकारी के अनुसार भूकंप से अब तक कोई जानमाल का नुकसान नहीं हुआ है.
मीडिया रिपोर्ट के अनसुार भूकंप के झटके नेपाल से सटे उत्तर बिहार में भी महसूस किए गए हैं. उत्तर बिहार के मधुबनी, समस्तीपुर, अररिया, कटिहार, सीतामढ़ी में भी रविवार की सुबह 7 बजकर 58 मीनट पर भूकंप के झटके महसूस किए गए. हालांकि, बिहार में भूकंप की तीव्रता कम मापी गई.
भूकंप का मापन भूकम्पमापी यंत्र से किया जाता है, जिसे सीस्मोग्राफ कहा जाता है. एक भूकंप का आघूर्ण परिमाण मापक्रम (Moment magnitude scale) यानी स्केल द्वारा नापा जाता है, या सम्बंधित और अप्रचलित रिक्टर परिमाण लिया जाता है. या उस से कम रिक्टर परिमाण की तीव्रता का भूकंप अक्सर अगोचर होता है, जबकि 7 रिक्टर की तीव्रता का भूकंप बड़े क्षेत्रों में गंभीर क्षति का कारण होता है. झटकों की तीव्रता का मापन विकसित मरकैली स्केल द्वारा किया जाता है.
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पृथ्वी की सतह हिलना भूकंप के संकेत हैं. अगर आपको ऐसा महसूस होता है कि धंरती कंपन कर रही है, तो बीना किसी इंतजार के आप अपने घर से बाहर खाली जगह या मैदान में आ सकते हैं. इसके इतर, अगर आप किसी भूकंप आने पर किसी बड़े इमारत में फंसे हैं, तो आप किसी मजबूत लकड़ी की टेबल के नीचे बैठ जाएं, जिससे किसी बड़े नुकसान से बचाव किया जा सकता है.