Fact Check: बांग्लादेश में मंदिर पर हमला का बताकर पाकिस्तान के पुराने वीडियो को किया Viral

Fact Check: सोशल मीडिया में एक वीडियो वायरल है, जिसमें बताया जा रहा है कि बांग्लादेश में मंदिर पर हमला किया गया है. इस वीडियो का निकला पाकिस्तान कनेक्शन? जानें.

By Mithilesh Jha | December 12, 2024 1:16 PM

Fact Check by LogicallyFacts, Published By प्रभात खबर (prabhatkhabar.com)

Fact Check|Bangladesh Hindu Temple Vandalised|बांग्लादेश में हिंदू समुदाय के धार्मिक स्थलों पर बढ़ती हिंसा की खबरों के बीच, सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल (Video Viral) हो रहा है. इसमें भीड़ नारे लगाते हुए एक हिंदू मंदिर में तोड़फोड़ करती नजर आ रही है. दावा किया जा रहा है कि यह वीडियो बांग्लादेश में हाल ही में हुए एक हिंदू मंदिर पर हमले का है.

प्रो सुधांशु नामक एक्स हैंडल ने वीडियो पोस्ट करते हुए कैप्शन में लिखा, ‘बांग्लादेश में हिंदू मंदिरों की दुर्दशा. कहां है अंतर्राष्ट्रीय मानवाधिकार एवं भारत सरकार. सभी Rohingyas एवं Bangladeshi घुसपैठिए को भारत से बाहर करें और सारे व्यापार और क्रिकेट मैच बंद होना चाहिए.’ इस पोस्ट को खूब देखा जा रहा है. इसको लाइक्स भी मिल रहे हैं. हजारों लोगों ने इसे रीपोस्ट भी किया है. ऐसे ही दावों वाले अन्य पोस्ट्स यहां, यहां, यहां और यहां देखे जा सकते हैं.

वायरल पोस्ट्स के स्क्रीनशॉट. (सोर्स: एक्स/स्क्रीनशॉट)

हालांकि, यह वीडियो बांग्लादेश का नहीं, बल्कि पाकिस्तान का है. अगस्त 4, 2021 को पंजाब प्रांत के रहीम यार खान जिले में एक हिंदू मंदिर में भीड़ ने तोड़फोड़ की थी.

सच्चाई कैसे पता चली?

वायरल वीडियो के की-फ्रेम्स को रिवर्स इमेज सर्च से ढूंढ़ने पर, हमें अगस्त 2021 की कई मीडिया रिपोर्ट्स मिली. इनमें इस वीडियो के स्क्रीनशॉट्स शामिल थे. इन रिपोर्ट्स में बताया गया था कि मंदिर में तोड़फोड़ की यह घटना पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के रहीम यार खान जिले के भोंग कस्बे में स्थित गणेश मंदिर की है.

पाकिस्तानी न्यूज आउटलेट डॉन की अगस्त 5, 2021 की रिपोर्ट के मुताबिक, एक 9 साल के हिंदू लड़के पर स्थानीय मदरसे में पेशाब करने का आरोप था. जब स्थानीय अदालत ने उसे जमानत दे दी, तो सैकड़ों लोगों ने रहीम यार खान जिले के भोंग कस्बे में स्थित हिंदू मंदिर में तोड़फोड़ की और सुक्कुर-मुल्तान मोटर-वे (एम-5) को जाम कर दिया.

अगस्त 2021 में प्रकाशित डॉन की रिपोर्ट का स्क्रीनशॉट. (सोर्स: डॉन/स्क्रीनशॉट)

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रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से बताया गया है कि भोंग पुलिस ने जुलाई 24, 2021 को पाकिस्तान दंड संहिता की धारा 295-ए के तहत लड़के के खिलाफ मामला दर्ज किया था. हिंदू बुजुर्गों ने मदरसा प्रशासन से माफी मांगी थी और कहा था कि आरोपी नाबालिग और मानसिक रूप से विक्षिप्त है. इसके बाद, जब निचली अदालत ने उसे जमानत दी, तो कुछ लोगों ने कस्बे में लोगों को भड़काया. दुकानों को बंद करवाया और मंदिर पर हमला कर दिया.

रिपोर्ट के मुताबिक, क्षेत्र में हिंदू और मुस्लिम समूहों के बीच एक पुराने धन-संबंधी विवाद की खबरें हैं, जिसे अशांति का असली कारण बताया गया है.

हमने पाया कि यही वीडियो पहले पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ पार्टी के पाकिस्तानी सांसद रमेश कुमार वंकवानी ने अगस्त 4, 2021 को एक्स पर पोस्ट (आर्काइव यहां) किया था.

पाकिस्तानी सांसद रमेश कुमार वंकवानी के एक्स-पोस्ट का स्क्रीनशॉट. (सोर्स: एक्स/स्क्रीनशॉट)

इस घटना के बाद, पाकिस्तान नेशनल असेंबली ने मंदिर में हमले की निंदा करते हुए एक प्रस्ताव पारित किया और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया. साथ ही काउंसिल ऑफ इस्लामिक आइडियोलॉजी ने मंदिर में हमले की घटना की आलोचना की थी.

पाकिस्तान के तत्कालीन प्रधानमंत्री इमरान खान ने भी अगस्त 5, 2021 को एक्स-पोस्ट (आर्काइव यहां) के जरिये मंदिर पर हमले की निंदा की थी और आश्वासन दिया था कि सरकार मंदिर का जीर्णोद्धार करेगी.

पाकिस्तान के तत्कालीन प्रधानमंत्री इमरान खान के एक्स-पोस्ट का स्क्रीनशॉट. (सोर्स: एक्स/स्क्रीनशॉट)

10 अगस्त को प्रकाशित अल-जजीरा की रिपोर्ट में बताया गया है कि पाकिस्तान सरकार ने घटना के हफ्ते भर बाद ही हिंदू मंदिर का जीर्णोद्धार कार्य पूरा कर लिया और हमले में शामिल लगभग 90 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.

इसके अलावा, द हिंदू, हिंदुस्तान टाइम्स, इंडिया टुडे और द वायर सहित कई भारतीय मीडिया आउटलेट्स ने पाकिस्तान में मंदिर में तोड़फोड़ की घटना पर रिपोर्ट्स प्रकाशित की थी.

निर्णय

हमारी अब तक की जांच से यह स्पष्ट है कि वायरल वीडियो बांग्लादेश का नहीं, बल्कि 2021 में पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के रहीम यार खान जिले में एक मंदिर पर भीड़ द्वारा किए गए हमले का है. इसका बांग्लादेश की किसी भी घटना से कोई संबंध नहीं है.

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(डिस्क्लेमर : इस खबर का फैक्ट चेक लॉजिकली फैक्ट्स ने किया है. प्रभात खबर (prabhatkhabar.com) ने शक्ति कलेक्टिव के साथ भागीदारी के तहत इस फैक्ट चेक को संशोधनों के साथ पुनर्प्रकाशित किया है.)

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