नयी दिल्ली : 15 अगस्त को तालिबान ने अफगानिस्तान पर कब्जा कर लिया है. इसके बाद से काबुल सहित अधिकतर शहरों में अफरा-तफरी का माहौल है. लोग घर छोड़कर भाग रहे हैं. काबुल एयरपोर्ट पर भी भारी संख्या में लोग जमे हुए हैं और अफगानिस्तान से बाहर निकलने का रास्ता तलाश रहे हैं. वहीं एक चौकाने वाली खबर यह है कि गर्ल्स बोर्डिंग स्कूल के संस्थापक ने बच्चियों के सारे रिकॉर्ड जला दिये हैं.
सीएनएन-न्यूज 18 की एक रिपोर्ट के मुताबिक कट्टरपंथियों तालिबान लड़ाकों ने दहशत का माहौल बना दिया है. उनका डर लोगों पर इस कदर हावी है कि देश के एक मात्र लड़कियों के बोर्डिंग स्कूल के फाउंडर ने अपने यहां के सभी बच्चियों के रिकॉर्ड जला डाले. उन्होंने कहा कि लड़कियों का जान बचाना हमारे लिए पहली प्राथमिकता है. बता दें कि तालिबान केवन सरिया कानून मानता है.
स्कूल की को-फाउंडर शबाना बसीज-रसीख ने सोशल साइट ट्विटर पर एक वीडियो शेयर किया है, जिसमें देखा जा सकता है बच्चियों का सारा रिकॉर्ड जलाया जा रहा है. उन्होंने लिखा कि अफगानिस्तान के लड़कियों के एक मात्र बोर्डिंग स्कूल में मेरी 20 साल की यादें हैं. मैं बच्चियों के रिकॉर्ड को मिटाने के लिए नहीं, बल्कि उनको और उनके परिवार वालों की पहचान छुपाने के लिए इन्हें जला रही हूं.
उन्होंने एक के बाद एक कई ट्वीट किये और तालिबान के क्रूर चेहरे के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि 20 साल पहले जब अफगानिस्तान तालिबान के चंगुल से आजाद हुआ था तक लड़कियों को स्कूल जाने की इजाजत मिली थी. आज एक बार फिर इनका राज आया है. ऐसे में लड़कियों और उनके परिवार की रक्षा करने के लिए ये रिकॉर्ड जलाये जा रहे हैं.
Nearly 20 years later, as the founder of the only all-girls boarding school in Afghanistan, I’m burning my students’ records not to erase them, but to protect them and their families.
2/6 pic.twitter.com/JErbZCSPuC— Shabana Basij-Rasikh (@sbasijrasikh) August 20, 2021
उन्होंने कहा कि मेरे छात्र, सहकर्मी, और मैं दुनिया के विभिन्न देशों की कृतज्ञता के कारण सुरक्षित हैं. मेरी कृतज्ञता को उचित रूप से व्यक्त करने का समय आ जायेगा. लेकिन अभी कई ऐसे हैं जो सुरक्षित महसूस नहीं कर रहे हैं, मैं उनको लेकर चिंतित हूं. मैं यह बयान उन छात्राओं और उनके परिवार वालों को आश्वस्त करने के लिए दे रही हूं, जिनका रिकॉर्ड हमने जलाया है.
बता दें कि अफगानिस्तान पर कब्जे के बाद तालिबान जब मीडिया से बात कर रहा था तब, एक महिला रिपोर्टर को घर जाने के लिए बोल दिया था. तालिबान ने टीवी एंकर शबनम खान दावरान को घर में रहने की धमकी दी. उन्होंने कहा कि मैं काम करना चाहती हूं, लेकिन वे मुझे काम नहीं करने दे रहे हैं. तालिबान ने शबनम से कहा कि अब व्यवस्था बदल गयी है. आप काम पर नहीं जा सकती.
Posted By: Amlesh Nandan.