नई दिल्ली : रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध का आज 12वां दिन है. फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के रिक्वेस्ट पर रूसी समकक्ष व्लादिमीर पुतिन ने मानवीय गलियारा बनाकर आम आदमी को निकालने के यूक्रेन के कुछ क्षेत्रों में युद्ध विराम की घोषणा की है. वहीं, दोनों देशों के इस युद्ध के दौरान अमेरिका रूस पर नए प्रतिबंध लगाने की तैयारी में जुट गया है. अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा है कि रूस से कच्चे तेल के आयात पर प्रतिबंध लगाने के लिए अमेरिका और उसे सहयोगी देश आपस में बातचीत कर रहे हैं. इससे पहले, कच्चे तेल का दाम 2008 के बाद रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया है. वहीं, यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने रूस पर और अधिक कड़े प्रतिबंध लगाने की मांग की है.
अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि अमेरिका और उसके सहयोगियों के बीच रूस से तेल और प्राकृतिक गैस के आयात पर प्रतिबंध लगाने के बारे में बातचीत चल रही है. तेल और गैस आयात के बारे में पूछने पर ब्लिंकन ने रविवार को सीएनएन से बातचीत के दौरान कहा कि राष्ट्रपति जो बाइडन ने एक दिन पहले इस विषय पर अपनी राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की बैठक की थी. बाइडन और पश्चिमी देशों ने अब तक रूस के ऊर्जा उद्योग पर प्रतिबंध नहीं लगाए हैं, ताकि इससे उनकी अर्थव्यवस्थाओं पर असर नहीं पड़े.
वहीं, रूस के खिलाफ कड़े प्रतिबंधों की बढ़ती मांग के बीच कच्चे तेल की कीमत में 10 डॉलर प्रति बैरल से अधिक का उछाल आया और सोमवार को शेयर बाजार में तेजी से गिरावट दर्ज की गई. ब्रेंट क्रूड ऑयल सोमवार तड़के कुछ समय के लिए 10 डॉलर से बढ़कर लगभग 130 डॉलर प्रति बैरल हो गया. इसके लिए रूस के खिलाफ कठोर प्रतिबंधों के बढ़ते आह्वान के बीच यूक्रेन में संघर्ष के गहराने को जिम्मेदार माना जा रहा है. इस बीच, लीबिया की राष्ट्रीय तेल कंपनी ने कहा कि एक सशस्त्र समूह ने दो महत्वपूर्ण तेल क्षेत्रों को बंद कर दिया था, जिसके बाद तेल की कीमतें बढ़ रही हैं.
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इसके साथ ही, युद्धग्रस्त यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने पश्चिमी देशों से रूस के खिलाफ प्रतिबंध और कड़े करने का आग्रह किया है. जेलेंस्की ने रूसी रक्षा मंत्रालय की घोषणा का जवाब नहीं देने के लिए रविवार शाम एक वीडियो संदेश में पश्चिमी नेताओं की आलोचना की. रूसी रक्षा मंत्रालय ने कहा है कि वह यूक्रेन के सैन्य-औद्योगिक परिसर पर हमला करेगा और उसने इन रक्षा संयंत्रों के कर्मचारियों को काम पर नहीं जाने को भी कहा है. जेलेंस्की ने कहा कि मैंने एक भी विश्व नेता की इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं सुनी. आक्रमण करने वाले का दुस्साहस दिखाता है कि मौजूदा प्रतिबंध पर्याप्त नहीं हैं.