केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को कहा कि यदि कांग्रेस छत्तीसगढ़ में दोबारा सत्ता में आती है, तो राज्य में तुष्टिकरण और वोट बैंक की राजनीति जारी रखेगी. पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह और जिले के अन्य बीजेपी (भारतीय जनता पार्टी) प्रत्याशियों के नामांकन दाखिल करने से पहले, शाह ने एक रैली को संबोधित करते हुए मंच पर मौजूद साजा विधानसभा क्षेत्र से प्रत्याशी ईश्वर साहू की ओर इशारा करते हुए कहा कि वोट बैंक की राजनीति के चलते भुनेश्वर साहू की हत्या कर दी गई. ईश्वर साहू के बेटे भुनेश्वर की इस साल अप्रैल में बेमेतरा जिले के बिरनपुर गांव में सांप्रदायिक हिंसा में मौत हो गई थी. बीजेपी ने ईश्वर साहू को साजा विधानसभा सीट से अपना प्रत्याशी बनाया है. साहू राज्य के वरिष्ठ मंत्री रविंद्र चौबे के खिलाफ चुनाव लड़ रहे हैं. अमित शाह ने कहा, ‘क्या आप चाहते हैं कि छत्तीसगढ़ एक बार फिर से कौमी दंगों का केंद्र बने? भुनेश्वर साहू को न्याय मिलना चाहिए कि नहीं?’
भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ को ‘दिल्ली दरबार का एटीएम’ बना दिया
उन्होंने कहा कि यदि कांग्रेस फिर से सत्ता में आती है, तो वे तुष्टिकरण और वोट बैंक की राजनीति को आगे बढ़ाएंगे. केंद्रीय मंत्री ने रैली में राज्य सरकार के कथित घोटालों का जिक्र किया और कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ को ‘दिल्ली दरबार का एटीएम’ बना दिया है. उन्होंने कहा कि यदि राज्य में बीजेपी की सरकार बनती है, तो भ्रष्टाचारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. शाह ने चुनावी रैली में भीड़ को देखकर कहा, ‘आपके उत्साह को देखकर लग रहा है कि तीन दिसंबर को कमल खिलेगा.’
डॉ रमन सिंह ने बीमारू राज्य को विकसित राज्य बनाया
उन्होंने कहा कि आगामी विधानसभा चुनाव किसी सरकार या विधायक को चुनने के लिए नहीं है, बल्कि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सुनहरा भविष्य बनाने के लिए है. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि कांग्रेस शासन के दौरान अविभाजित मध्यप्रदेश-छत्तीसगढ़ बीमारू राज्य बना रहा, लेकिन डॉ रमन सिंह के (2003 में) सत्ता में आने के बाद छत्तीसगढ़ 15 वर्ष में विकसित राज्य बन गया. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को हिसाब देना चाहिए कि उन्होंने पिछले पांच वर्ष में क्या किया.
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डॉ रमन सिंह के नामांकन में शामिल हुए अमित शाह
रैली के बाद अमित शाह, डॉ रमन सिंह और बीजेपी के अन्य प्रत्याशियों को नामांकन दाखिल कराने के लिए रवाना हो गए. छत्तीसगढ़ में सात और 17 नवंबर को दो चरण में मतदान होगा. पहले चरण में कोंटा, बीजापुर, दंतेवाड़ा, चित्रकोट, जगदलपुर, बस्तर, नारायणपुर, कोंडागांव, केशकाल, कांकेर, भानुप्रतापपुर, अंतागढ़, मोहला-मानपुर, खुज्जी, डोंगरगांव, राजनांदगांव, डोंगरगढ़, खैरागढ़, कवर्धा और पंडरिया विधानसभा क्षेत्रों के लिए मतदान होगा. डॉ रमन सिंह राजनांदगांव से चुनाव मैदान में उतर गए हैं. दूसरे चरण में राज्य की अन्य 70 सीट के लिए मतदान होगा. सभी 90 सीटों के लिए मतों की गिनती तीन दिसंबर को होगी.
बीजेपी ने 85 उम्मीदवार घोषित किए
बीजेपी ने छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव में पहले चरण की सभी 20 सीटों समेत 90 में से 85 सीट के लिए अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है. वहीं, सत्ताधारी दल कांग्रेस ने पहले चरण की 19 सीट समेत 30 उम्मीदवारों के नामों की घोषणा की है. जगदलपुर विधानसभा सीट पर कांग्रेस पार्टी अभी तक अपने उम्मीदवार का नाम तय नहीं कर पाई है. सूत्र बता रहे हैं कि जगदलपुर से वर्तमान विधायक का टिकट कटना तय है.
आचार संहिता लागू होने के बाद बीजेपी की पहली बड़ी रैली
बता दें कि राज्य में आदर्श आचार संहिता लागू होने के बाद बीजेपी की यह पहली बड़ी रैली है. अमित शाह पिछले लगभग तीन महीनों से लगातार छत्तीसगढ़ का दौरा कर रहे हैं. इस दौरान उन्होंने पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ कई बैठकें की तथा रैलियों को संबोधित किया. ज्ञात हो कि छत्तीसगढ़ में वर्ष 2018 में विधानसभा चुनाव में कांग्रेस ने 90 में से 68 सीट जीतकर सरकार बनाई थी और बीजेपी को केवल 15 सीट पर जीत मिली थी. अजित जोगी की पार्टी जेसीसी (जे) को पांच और बसपा को दो सीटें मिलीं थीं. उपचुनावों में जीत के बाद कांग्रेस के विधायकों की संख्या 71 हो गई है.