नई दिल्ली : एक फरवरी को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्तीय वर्ष 2023-24 का आम बजट पेश करेंगी. खबर है कि संसद में केंद्रीय बजट 2023 (Union Budget 2023) को पेश किए जाने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश के अर्थशास्त्रियों और विशेषज्ञों के साथ बातचीत करेंगे. इसके लिए आगामी 13 जनवरी को एक बैठक आयोजित की जाएगी. इस बैठक नीति आयोग के कार्यालय में आयोजित की जाएगी.
मामले से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी के हवाले से मीडिया की रिपोर्ट के अनुसार, अर्थशास्त्रियों और विशेषज्ञों के साथ बातचीत के लिए 13 जनवरी को होने वाली विशेष बैठक के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अर्थव्यवस्था की स्थिति और आर्थिक वृद्धि दर को गति देने के उपायों पर चर्चा करेंगे. चालू वित्तीय वर्ष 2022-23 में आर्थिक वृद्धि दर घटकर सात फीसदी पर आने का अनुमान है. उन्होंने आगे कहा कि इस बैठक में कई केंद्रीय मंत्री भी शामिल होंगे.
बताते चलें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी, 2023 को संसद में वित्तीय वर्ष 2023-24 का बजट पेश करेंगी. मांग में नरमी के साथ देश की आर्थिक वृद्धि दर चालू वित्त वर्ष में सालाना आधार पर घटकर सात फीसदी रह सकती है. ऐसा होने पर भारत सबसे तेजी से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था (Fastset growing economy) का दर्जा गंवा सकता है. सांख्यिकी मंत्रालय के पहले आधिकारिक अनुमान के अनुसार, वित्त वर्ष 2022-23 में जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) वृद्धि दर सात फीसदी रहेगी, जो बीते वित्त वर्ष 2021-22 में 8.7 फीसदी थी.
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आर्थिक विशेषज्ञों के अनुसार, भारत की आर्थिक वृद्धि दर को सात फीसदी तक रहने वाला यह अनुमान सरकार के पहले के 8 से 8.5 फीसदी की वृद्धि के अनुमान से काफी कम है. हालांकि, यह भारतीय रिजर्व बैंक के 6.8 फीसदी के अनुमान से अधिक है. अगर यह अनुमान सही रहा, तो भारत की आर्थिक वृद्धि दर सऊदी अरब से कम रहेगी. सऊदी अरब की वृद्धि दर 7.6 फीसदी रहने की संभावना जताई गई है. वास्तव में, भारत की जीडीपी वृद्धि दर जुलाई-सितंबर तिमाही में 6.3 फीसदी रही थी, जबकि इस अवधि में सऊदी अरब की अर्थव्यवस्था 8.7 फीसदी की दर से बढ़ी थी.
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