पोस्ट ऑफिस में निवेश के लिए कई स्कीम है. यह स्कीम बैंक में मिलने वाली दूसरी स्कीम से कितनी अलग है. इसके फायदे क्या – क्या हैं. टैक्स में किस तरह की छूट मिलती है. इस संबंध में सारे सवालों के जवाब दे रहे हैं सी.ए प्रशात पटौदिया.
हम संचार क्रांति में है. सभी डिजिटल माध्यम से काम कर रहे हैं. बैंक में थोड़ा सा रिस्क रहता है लेकिन पोस्ट ऑफिस में आपके पैसे को सुरक्षित रखने की पूरी गारंटी सरकार की होती है. ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में भी यह आसानी से उपलब्ध है. बैंक और पोस्टऑफिस की तुलना करें तो पोस्टऑफिस में ब्याज दर भी ज्यादा है.
पोस्ट ऑफिस में मुख्य रूप से सात- आठ तरह की स्कीम है. एक तो सेविंग अकाउंट हैं, जो 500 रुपये से खोले जा सकते हैं. टर्म डिपोजिट, महीने की बचत योजना है, वरिष्ठ नागरिकों के लिए स्कीम है, पीपीएफ, एनएसई, किसान विकास पत्र, सुकन्या समृद्धि स्कीम जैसी स्कीम है.
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किसान विकास पत्र, एनएसई जैसी कुछ स्कीम हैं जो सिर्फ पोस्ट ऑफिस में है. यह स्पष्ट है कि पोस्ट ऑफिर में आपको बेहतर ब्याज दर मिलता है. आपके पैसे ज्यादा सुरक्षित रहते हैं.
निवेश के लिए कई उम्र नहीं है. बच्चों के नाम से भी निवेश किया जा सकता है. किसी भी आय, उम्र का व्यक्ति निवेश कर सकता है. इसमें ज्यादा कुछ नहीं चाहिए आपको एक पहचान पत्र चाहिए फोटो चाहिए और आपका अकाउंट खुल जायेगा. हमें निवेश के लिए हर हर योजना में ध्यान रखना चाहिए. ऐसा नहीं है कि सिर्फ बैंक में या पोस्ट ऑफिस में निवेश करें सभी तरह के निवेश पर ध्यान देना चाहिए.
सभी पोस्ट ऑफिस स्कीम का एक वक्त है. अगर आप समय- समय पर पैसा नहीं भरते तो वह बंद हो जाता है. अगर आप इसे दोबारा शुरू करना चाहते हैं तो आपको इसके लिए अतिरिक्त पैसे देने होंगे. बाद में पैसा भी कम मिलेगा.
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आपको इस बात का ध्यान रखना है कि अपनी निजी जानकारी शेयर ना करें. फ्रॉड किसी भी निवेश को माध्यम बना कर किया जा सकता है.
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