20.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बांग्लादेशी हिल्सा के लिए तरसेगा बंगाल? शेख हसीना तख्तापलट के बाद आयात बंद

Hilsa Fish: छले साल दुर्गा पूजा के दौरान शेख हसीना सरकार ने बांग्लादेशी मछली कारोबारियों को भारत में करीब 3,950 टन पद्मा हिल्सा बेचने की अनुमति दी थी. लेकिन, इस साल पद्मा हिल्सा मछली त्योहारों के दौरान बंगाल में देखने को नहीं मिलेगी.

Hilsa Fish: बांग्लादेश में छात्रों के हिंसक प्रदर्शन के बाद शेख हसीना सरकार के तख्ता पलट जाने के बाद भारत में लोग हिल्सा मछली के लिए लोग तरसने लगे हैं. बांग्लादेश में राजनीतिक संकट पैदा होने के बाद भारत का आयात-निर्यात बुरी तरह से प्रभावित हो गया है. भारत से सटी सीमाओं को सील करने के बाद अन्य उत्पादों के साथ हिल्सा मछली का आयात भी बंद हो गया है. इसके चलते पश्चिम बंगाल के मछली बाजारों से हिल्सा मछली पूरी तरह से गायब होने के आसार अधिक हैं. हालांकि, पश्चिम बंगाल में ओडिशा और म्यांमा की हिल्सा मछलियों की भी बिक्री की जाती है, लेकिन स्वाद के मामले में बांग्लादेश से आने वाली हिल्सा मछली या पद्मा हिल्सा अव्वल मानी जाती है. इसीलिए, इसकी मांग काफी अधिक है.

पश्चिम बंगाल में बांग्लादेश की हिल्सा मछली क्यों प्रसिद्ध है?

बंगाली व्यंजनों में हिल्सा मछली बेहतरीन मानी जाती है. बंगाल में इसे इलिश, इलिश पातुरी, शोरसे इलिस, पद्मा हिल्सा या हिल्सा माछ भी कहा जाता है. आम तौर पर मानसून के दौरान बांग्लादेश और भारत के पश्चिम बंगाल पद्मा हिल्सा की मांग काफी बढ़ जाती है. पश्चिम बंगाल में अगस्त से अक्टूबर के बीच में इसकी खपत काफी बढ़ जाती है. खासकर, दुर्गापूजा के समय इसकी मांग तेजी से बढ़ जाती है. मांग बढ़ने के साथ ही मछली कारोबारियों की आमदनी में भी काफी इजाफा हो जाता है.

भारत में बांग्लादेश से हिल्सा मछली का आयात कब से बंद है?

घरेलू मांगों को देखते हुए बांग्लादेश की पूर्ववर्ती शेख हसीना की सरकार ने साल 2012 से हिल्सा मछली के निर्यात पर रोक लगा रखी थी. लेकिन, सद्भावना के तौर पर शेख हसीना प्रशासन की ओर से हर साल अगस्त से अक्टूबर के बीच हिल्सा मछली भारत भेजी जाती थी. एक प्रकार से वह पश्चिम बंगाल के लोगों को उपहार के तौर पर हिल्सा मछली भेजती थीं. यह बांग्लादेश के पेट्रापोल सीमा के रास्ते बोनगांव होते हुए पश्चिम बंगाल के कोलकाता और दूसरे जिलों में आती थी.

वर्ष 2023 में बांग्लादेश से कितने टन हिल्सा मछली भारत भेजी गई थी?

2023 में दुर्गा पूजा के दौरान शेख हसीना सरकार ने बांग्लादेशी मछली कारोबारियों को भारत में करीब 3,950 टन पद्मा हिल्सा बेचने की अनुमति दी थी. लेकिन, इस साल पद्मा हिल्सा मछली त्योहारों के दौरान बंगाल में देखने को नहीं मिलेगी. रिपोर्ट में कहा गया है कि बांग्लादेश से पद्मा हिल्सा की आवक बंद हो जाने के बाद बंगाल में इस साल त्योहारी सीजन में म्यांमा और ओडिशा से आने वाली हिल्सा मछलियों की मांग काफी बढ़ सकती है.

इसे भी पढ़ें: ओडिशा में बिक रहा यूपी का आलू, पंजाब से खरीदने की तैयारी

इस साल भारत में महंगी हो जाएगी हिल्सा मछली

रिपोर्ट में मछली आयातक संघ के सचिव सैयद अनवर मकसूद के हवाले से कहा गया है कि म्यांमा और ओडिशा से आने वाली हिल्सा मछली की कीमते पिछले साल की तुलना में पहले ही 30 फीसदी बढ़ चुकी हैं और बांग्लादेशी हिल्सा और भी महंगी होगी. उन्होंने कहा कि बांग्लादेशी हिल्सा विशेष रूप से पद्मा नदी में पाई जाती है. इसीलिए इसे ‘पद्मार इलिश’ कहते हैं. यह अपने बेहतरीन स्वाद के लिए अत्यधिक प्रसिद्ध है. इस साल इसकी कीमत 2,200 रुपये से 2,400 रुपये प्रति किलो तक जाने के आसार हैं.

इसे भी पढ़ें: सट्टा किंग बनने की कोशिश किए तो सीधे जाएंगे जेल, भारी जुर्माना ऊपर से

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें