Success Story: “ठुकरा के मेरा प्यार… मेरा इंतकाम देखेगी!” – ये डायलॉग आपने राजकुमार राव की फिल्म ‘शादी में जरूर आना’ में जरूर सुना होगा, जिसमें राजकुमार राव की गर्लफ्रेंड उन्हें धोखा देती है. इस धोखे के बाद, बदला लेने के लिए वह एक आईएएस अफसर बन जाते हैं, और यह कहानी उस बेवफाई का बदला लेने की एक प्रेरक मिसाल बन जाती है. फिल्म में दिखाया गया यह ट्रैक हालांकि काल्पनिक था, लेकिन बिहार के पटना में एक युवक ने ठीक ऐसा ही वास्तविक जीवन में कर दिखाया. IAS आदित्य पांडे नामक युवक की कहानी किसी फिल्मी स्क्रिप्ट से कम नहीं है. उनकी जिंदगी ने भी एक मोड़ लिया, जब उन्हें अपनी गर्लफ्रेंड से धोखा मिला. वह कड़ी मेहनत और संकल्प के साथ अपनी स्थिति को बदलने में जुट गए. उन्होंने अपने फील्ड से बिल्कुल हटकर कुछ बड़ा करने की ठानी और अपनी मेहनत और लगन के बल पर उन्होंने यूपीएससी की परीक्षा क्लियर की और वाह आईएएस अधिकारी बन गए.
UPSC के बारे में नहीं थी ज्यादा जानकारी
आदित्य के पढ़ाई का सफर काफी अटपटा रहा. 9 वीं कक्षा तक उन्होंने अच्छा प्रदर्शन किया लेकिन 10 वीं में उन्हें एक लड़की से प्यार हुआ और इन सब चक्करों के वजह से उनका रिजल्ट ख़राब हो गया. इसके बाद उन्हें 12 वीं के बाद उनके पिता ने इंजीनियरिंग करने के लिए भेज दिया, हालांकि उनका खुद का मन था कि वह इंग्लिश ऑनर्स करें लेकिन उनके पिता की जिद के वजह से उन्हें इंजीनियरिंग करना पड़ा. अपनी बचपन की गर्लफ्रेंड से जब उनका ब्रेकअप हुआ तब वह काफ़ी दुखी हो गए और उन्होंने ठान ली कि वह अब जीवन में कुछ बड़ा करेंगे और उन्होंने उस लड़की से कहा कि मैं एक दिन आईएएस बनूंगा , इसके बाद वह जी जान से अपनी तैयारी में जुट गए. हालांकि उन्हें इस परीक्षा के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं थी, उन्होंने बस अपने सीनियर्स से इस बारे में सुना था.
शिक्षकों और रिश्तेदारों को नहीं था आदित्य की काबिलियत पर भरोसा
आदित्य जब स्कूल में थे तब उनके एक शिक्षक ने उनकी पढ़ाई से नाराज होकर उनके पिता को कहा था कि अगर ये लड़का पढ़ कर कुछ बड़ा हासिल कर लेता है तो वे अपनी मूंछ मुंडवा लेंगे. साथ ही उनके रिश्तेदारों को भी लगता था कि यूपीएससी उनके लिए नामुमकिन है. सभी लोगों के नकारात्मक विचारों से आदित्य का मनोबल कमजोर तो होता था लेकिन वे फिर मेहनत से अपनी तैयारी में लग जाते थे.
UPSC में हासिल किया 48 वां रैंक
आदित्य ने लगातार 2021 और 2022 में यूपीएससी की परीक्षा दी लेकिन दोनों ही बार वे अपने प्रयासों में नकामयाब रह गए. वे इससे निराश तो हुए लेकिन उन्होंने अपनी हिम्मत नहीं हारी. बता दें कि उन्होंने यूपीएससी की तैयारी के लिए अपनी अच्छी खासी नौकरी भी छोड़ दी थी, उनके पास कोई प्लैन बी नहीं था, उन्हें बस आईएएस बनना था. इसलिए उन्होंने फिर से कोचिंग 2023 में अपना तीसरा अटेम्पट दिया और ना सिर्फ वे इसमें कामयाब हुए बल्कि उन्होंने ऑल इंडिया रैंक 48 हासिल किया और उन्हें आईएएस अफसर का पोस्ट मिल गया. फिलहाल वे झारखंड के रांची में ट्रेनी आईएएस के रुप में कार्यरत हैं. आदित्य पांडे की कहनी कई नौजवानों के लिए एक बेहतरीन मिसाल है.
ऐसी और प्रेरणादायी कहानियों को पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें