Sunil Dutt Death Anniversary: सुनील दत्त, सिनेमा इंडस्ट्री का वो नाम, जो शराफत और समाज सेवा के लिए पहचाना जाता है. अपनी फिल्मों में डाकू का किरदार निभाने से लेकर सामाजिक मुद्दों पर काम करने वाले सुनील दत्त की आज 19वीं पुण्यतिथि है. दरअसल, सुनील दत्त का जन्म 6 जून 1929 को झेलम, पाकिस्तान में हुआ था. इनका असली नाम बलराज दत्त था.
सुनील दत्त का पाकिस्तान से क्या कनेक्शन है?
सुनील दत्त से अक्सर लोग उनके पाकिस्तान से ताल्लुक रखने को लेकर सवाल करते रहते थे. हालांकि, इसका जवाब है कि सुनील के लिए पाकिस्तान उनका बचपन है. दरअसल, सुनील दत्त के पिता दीवान दत्त की मृत्यु के बाद वह अपनी मां कुलवंत देवी के साथ पाकिस्तान में रहते थे. उस वक्त उनकी उम्र महज 5 साल की थी. जब वह 18 वर्ष के हुए तब सुनील अपने दोस्त की मदद से बंटवारे के दौरान भारत लौट आए.
कभी बस कंडक्टर तो कभी रेडियो जॉकी
मुन्ना भाई एमबीबीएस और मदर इंडिया जैसी सुपरहिट फिल्में देने वाले सुनील दत्त ने अपने जीवन में काफी नाम और शौहरत कमाई. लेकिन एक दौर वह भी था जब उनके पास खाने तक के लाले थे. जब सुनील अपने विद्यार्थी जीवन में थे, तब अपने जरूरी खर्चों के निवारण के लिए उन्होंने बस कंडक्टर की नौकरी की थी. इसके बाद अपना ग्रेजुएशन पूरा करके उन्होंने रेडियो सेयलॉन में हिंदी के सबसे पसंदीदा अनाउंसर के पद पर काम करना शुरू किया. इस नौकरी ने उनके एक्टिंग करियर को एक मोड़ दिया था. सुनील दत्त ने साल 1955 में रेलवे प्लेटफॉर्म नाम की पहली फिल्म में अपना एक्टिंग डेब्यू किया.
एक्टर के साथ-साथ कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं सुनील दत्त
सुनील दत्त ने फिल्मों में हाथ आजमाने के साथ-साथ राजनीति में भी कदम रखा था. खास बात तो ये रही कि दोनो ही क्षेत्रों में वह सफल रहे. वह साल 1984 में कांग्रेस पार्टी की टिकट पर लगातार 5 बार मुंबई लोकसभा सीट से चुनाव जीते और सांसद बने. बता दें कि पूर्व मुख्यमंत्री मनमोहन सिंह की सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे थे.
नर्गिस को बचाने के लिए आग में कूदे सुनील दत्त
सुनील दत्त और नर्गिस मदर इंडिया की शूटिंग के दौरान एक दूसरे के करीब आए थे. एक बार की बात है जब सेट पर आग लग गई थी और नर्गिस को बचाने के लिए सुनील आग के खुद गए थे. इसके बाद नर्गिस ने उनका बहुत ख्याल रखा.
और सुनील दत्त ने 11 मार्च 1958 को मदर इंडिया की शूटिंग खत्म होने के बाद नर्गिस से गुप्त तरीके से शादी किया था. हालांकि, उन्होंने रिसेप्शन काफी शानदार दिया था. नरगिस और सुनील दत्त के तीन बच्चे हैं, संजय दत्त, प्रिया दत्त और नम्रता दत्त.
पत्नी के मृत्य के बाद टूट गए थे सुनील दत्त
सुनील दत्त ने अपने जीवन काल में काफी संघर्ष झेले. हालांकि, उन्हें अपने करियर में सफलता तो हासिल हुई लेकिन अपने निजी जीवन में वह हार गए. इसका सबसे बड़ा और मुख्य कारण था, बेटे संजय दत्त को ड्रग्स की आदत लगना और बीवी नर्गिस को कैंसर होना. सुनील दत्त सबसे ज्यादा कमजोर तब पड़ गए, जब उनकी पत्नी नरगिस का देहांत हो गया. सुनील दत्त ने पत्नी की कृत्य के बाद कैंसर और ड्रग्स से जागरूक करने के लिए मुंबई से चंडीगढ़ पदयात्रा की थी.
सुनील दत्त को इन पुरस्कारों से नवाजा गया
सुनील दत्त को फिल्मफेयर बेस्ट एक्टर अवार्ड, पद्म श्री, बंबई शेरिफ, राजीव गांधीराष्ट्रीय सद्भावना सम्मान, दादा साहेब फाल्के समेत बहुत से अवॉर्ड्स से नवाजे गए हैं.
सुनील दत्त की मृत्यु कब और कैसे हुई?
सुनील दत्त की मृत्यु 25 मई 2005 में हार्ट अटैक के कारण मुंबई के बांद्रा में 75 साल की आयु में हुई. हालांकि, इस विख्यात एक्टर को गए करीब 19 साल हो गए हैं लेकिन समाज और फिल्मी इंडस्ट्री के इनके योगदान को अब तक न कोई भुला सका है और न ही कभी भुला पाएगा.