Jharkhand News: नक्सली संगठन पीएलएफआई के सुप्रीमो रहे दिनेश गोप का खास सहयोगी नीलांबर गोप को पुलिस ने खूंटी के रनिया थाना क्षेत्र से गिरफ्तार किया है. पुलिस ने नीलांबर के पास से एक देसी कट्टा, .315 बोर की दो गोली, 5.56 एमएम की 36 गोली, नगद एक लाख रुपये, हथियार बनाने में प्रयोग किया जाने वाला लेथ मशीन तथा पीएलएफआई का पर्चा और चंदा रसीद बरामद की है.
दिनेश गोप का सहयोगी नीलांबर गोप गिरफ्तार
तोरपा एसडीपीओ ओम प्रकाश तिवारी ने सोमवार को पत्रकारों से बात करते हुए बताया कि दिनेश गोप का सहयोगी नीलांबर गोप के भ्रमणशील होने की सूचना मिली थी. सूचना के आधार पर एक टीम का गठन कर गिरफ्तार किया गया. नीलांबर की निशानदेही पर पुलिस ने भारी मात्रा में गोली, हथियार और हथियार बनाने में प्रयोग किया जाने वाला लेथ मशीन को बरामद किया है.
पीएलएफआई सुप्रीमो दिनेश गोप के सहयोगी नीलांबर गोप को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. नीलांबर के पास से कई असलहे बरामद की गयी. साथ ही पीएलएफआई का पर्चा और चंदा रसीद भी बरामद हुई है.
नीलांबर के खिलाफ कई मामले दर्ज
नीलांबर गोप पर पहले से कई मामले दर्ज हैं. उसके खिलाफ तोरपा, जरियागढ़, रनिया में कुल सात मामले शामिल है. उसकी गिरफ्तारी में तोरपा एसडीपीओ ओम प्रकाश तिवारी, इंस्पेक्टर दिग्विजय सिंह, रनिया थाना प्रभारी सत्यजीत कुमार, जरियागढ़ थाना प्रभारी पंकज कुमार, पुलिस अवर निरीक्षक जयदेव सराक, संदीप कुमार और सशस्त्र बल शामिल थे.
30 लाख का इनामी नक्सली दिनेश गोप मई माह में हुआ गिरफ्तार
बता दें कि 30 लाख का इनामी पीएलएफआई सुप्रीमो दिनेश गोप मई माह के अंतिम सप्ताह में गिरफ्तार किया गया था. दिनेश गोप को गिरफ्तार करने के बाद एनआईए ने आठ दिनों के रिमांड पर लिया था. पूछताछ के दौरान दिनेश ने कई खुलासे किये थे. वहीं, ईडी ने भी दिनेश से पूछताछ कर जानकारी हासिल की है.
नेपाल के रास्ते कनाडा भागने के फिराक में था
पूछताछ के दौरान दिनेश गोप ने खुलासा किया था कि नेपाल के रास्ते कनाडा भागने के फिराक में था, लेकिन इससे पहले ही पुलिस के हत्थे चढ़ा. बताया गया कि दिनेश कनाडा जाने के लिए अपना हुलिया भी बदल दिया था. दाढ़ी और बाल भी बढ़े हुए थे.
जानें कौन है दिनेश गोप
खूंटी जिला अंतर्गत लापा मोरहाटोली निवासी दिनेश गोप उर्फ अमरजीत सिंह उर्फ कुलदीप उर्फ साहेब उर्फ मारंग बुरू पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएलएफआई) का सुप्रीमो है. इसके खिलाफ 150 से अधिक मुकदमे दर्ज हैं. वहीं, दिनेश पर 30 लाख रुपये का इनाम था. इसमें झारखंड पुलिस ने 25 लाख रुपये का इनाम घोषित कर रखा था, वहीं एनआईए ने पांच लाख रुपये का इनाम रखा था. दिनेश पर लेवी वसूली के अलावा टेरर फंडिंग का भी आरोप है.
एनआईए ने की पूछताछ
गिरफ्तार दिनेश गोप से एनआईए ने पूछताछ की. पहली बार 22 मई, 2023 को आठ दिनों की रिमांड पर लेकर पूछताछ की थी. फिर इसके बाद एक जून से छह जून, 2023 तक पूछताछ की गयी. पुलिस रिमांड के दौरान दिनेश की निशानदेही पर हथियारों का जखीरा भी बरामद हुआ था.
खूंटी से जमीन में गाढ़ कर रखी जिप्सी को किया बरामद
वहीं, खूंटी के रनिया क्षेत्र से पुलिस ने जमीन के अंदर छुपा कर रखे गये दिनेश गोप की जिप्सी को बरामद किया है. बताया गया कि इसी जिप्सी के साथ दिनेश अपने हथियारबंद दस्ते से घूमता था. बरामद जिप्सी आठ- नौ साल पुरानी बतायी जा रही है.
ईडी ने भी की पूछताछ
एनआईए के बाद दिनेश गोप प्रवर्तन निदेशालय के जद में भी आया. रांची के होटवार स्थित बिरसा मुंडा सेंट्रल जेल में बंद दिनेश गोप से ईडी की टीम ने पूछताछ की. इस दौरान ईडी की टीम ने लेवी के रुपये कहां-कहां लगाया है, उसकी जानकारी प्राप्त की. दिनेश से पूछताछ में राजनेताओं को गठजोड़ का भी पता चला है.
दोनों पत्नियों से भी ईडी कर सकती है पूछताछ
दिनेश गोप के बाद ईडी उसकी दोनों पत्नियों से भी पूछताछ करेगी. दोनों से लेवी के पैसे को कैसे और कहां-कहां उपयोग में लाया गया है, इसकी पूछताछ की जाएगी. सूत्रों के मुताबिक, दिनेश गोप ने कई शेल कंपनियों में लेवी के पैसे निवेश करते हुए उसे वैध बनाया है.