Colonel Shuchita Shekhar: भारतीय सेना के लिए एक ऐतिहासिक क्षण में, कर्नल शुचिता शेखर कॉम्यूनिकेशन जोन मैकेनिकल ट्रांसपोर्ट बटालियन की कमान संभालने वाली सेना सेवा कोर की पहली महिला अधिकारी बन गई हैं. यह बटालियन, पूरी तरह से ऑपरेशनल उत्तरी कमान (Northern Command) की सप्लाई चेन के मेंटेनेंस के लिए जिम्मेदार है, एनिमल ट्रांसपोर्टेशन सहित सेना रसद (army logistics) में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है. कर्नल शेखर को उनकी नियुक्ति पर बधाई देने के लिए उत्तरी कमान ने ट्विटर का सहारा लिया.
उत्तरी कमान ने ट्वीट किया, “ध्रुव कमान सेना सेवा कोर की पहली महिला अधिकारी कर्नल शुचिता शेखर को बधाई देती है, जो पूरी तरह से चालू उत्तरी कमान की सप्लाई चेन के मेंटेनेंस के लिए जिम्मेदार एक कम्यूनिकेशन जाने मैकेनिकल ट्रांसपोर्ट बटालियन की कमान संभालने के लिए हैं.”
#NariShakti#DhruvaCommand congratulates Col Shuchita Shekhar, first Women Officer of Army Service Corps to assume command of a Communication Zone Mechanical Transport Battalion responsible for the maintenance of the Supply Chain of the fully operational #NorthernCommand… pic.twitter.com/t6xdnnaxQb
— NORTHERN COMMAND – INDIAN ARMY (@NorthernComd_IA) June 5, 2023
यह मील का पत्थर वरिष्ठ पदों पर भी लैंगिक समानता (gender equality) और समावेशिता (inclusivity) को बढ़ावा देने के भारतीय सेना के प्रयासों में एक महत्वपूर्ण कदम है. इस साल की शुरुआत में, पांच महिला अधिकारियों ने चेन्नई में ऑफिसर्स ट्रेनिंग अकादमी (OTA) में सफलतापूर्वक अपना प्रशिक्षण पूरा किया और आर्टिलरी रेजिमेंट में शामिल हुईं. उन्हें अपने पुरुष समकक्षों के समान अवसर और चुनौतियां प्राप्त होंगी और उन्हें विभिन्न प्रकार की यूनिट में नियुक्त किया जाएगा. सूत्रों के अनुसार, आर्टिलरी की रेजिमेंट में शामिल होने वाली पांच महिला अधिकारी लेफ्टिनेंट महक सैनी, लेफ्टिनेंट साक्षी दुबे, लेफ्टिनेंट अदिति यादव और लेफ्टिनेंट पवित्र मुदगिल हैं.
भारतीय सशस्त्र बलों के भीतर लिंग एकीकरण (gender integration ) में यह प्रगति सेना से आगे तक फैली हुई है. राफेल फाइटर जेट उड़ाने वाली भारतीय वायुसेना की पहली महिला पायलट फ्लाइट लेफ्टिनेंट शिवांगी सिंह इन दिनों फ्रांस में बहुराष्ट्रीय अभ्यास ‘ओरियन’ में हिस्सा ले रही हैं. यह पहली बार है जब भारत ने राफेल जेट को देश के बाहर तैनात किया है. फ्लाइट लेफ्टिनेंट सिंह, जो महिला लड़ाकू पायलटों के दूसरे बैच के हिस्से के रूप में 2017 में भारतीय वायुसेना में शामिल हुईं, ने पहले मिग -21 बाइसन उड़ाया था.