रक्षा मंत्रालय (Ministry of Defence) ने सोमवार को एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए घरेलू उद्योगों से 76,390 करोड़ रुपये के सैन्य उपकरण और अन्य साजोसामान खरीदने को मंजूरी दे दी. मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Defence minister Rajnath singh) की अध्यक्षता वाली रक्षा खरीद परिषद (DAC) ने इन प्रस्तावों को मंजूरी दी. मंत्रालय ने कहा कि भारतीय नौसेना के लिए, डीएसी ने लगभग 36,000 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से अगली पीढ़ी के कोरवेट (NGC) की खरीद की मंजूरी दी। कोरवेट एक प्रकार का छोटा पोत होता है.
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मंत्रालय के अनुसार ये एनजीसी निगरानी और हमला सहित विभिन्न भूमिकाओं के लिए उपयोगी होंगे. बयान में कहा गया है कि एनजीसी का निर्माण भारतीय नौसेना (Indian Navy) के नए इन-हाउस डिजाइन के आधार पर किया जाएगा और इसके लिए पोत निर्माण की नवीनतम तकनीक का इस्तेमाल किया जाएगा. स्वदेशीकरण को बढ़ाना देने के मकसद के साथ डीएसी ने हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड द्वारा डोर्नियर विमान और Su-30 MKI एयरो-इंजन के निर्माण के प्रस्ताव को भी मंजूरी दे दी.
डीएसी ने भारतीय थल सेना के लिए, दुर्गम क्षेत्रों के अनुकूल ट्रक (RTFLT), विशेष टैंक (BLT) आदि के साथ टैंक रोधी निर्देशित मिसाइल (एटीजीएम) और हथियार का पता लगाने वाले रडार के साथ बख्तरबंद लड़ाकू वाहन के साथ अन्य हथियारों की घरेलू स्रोतों से खरीद के लिए नयी मंजूरी दी है.
रक्षा में डिजिटल परिवर्तन के लिए सरकार ने डीएसी द्वारा डिजिटल तटरक्षक परियोजना को मंजूरी दी . इस परियोजना के तहत, तटरक्षक बल में विभिन्न सतह और विमान संचालन, लॉजिस्टिकस, वित्त और मानव संसाधन प्रक्रियाओं के डिजिटलीकरण के लिए एक अखिल भारतीय सुरक्षित नेटवर्क को स्थापित किया जाएगा.