उत्तर भारत में मूसलाधार बारिश ने भारी तबाही मचा दी है. सबसे अधिक नुकसान हिमाचल प्रदेश में हुई है. अबतक भारी बारिश और बाढ़ की वजह से 20 लोगों की मौत हो चुकी है. सड़कें और नेशनल हाईवे बारिश और भूस्खलन से प्रभावित हो चुकी हैं. सभी नदियां उफान पर हैं. कई इमारतें, पुल जलमग्न हो चुके हैं. जनजीवन पूरी तरह से अस्त-व्यस्त हो चुका है. इधर भारी तबाही को देखते हुए हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग कर दी है.
मुख्यमंत्री ने लोगों को अगले 24 घंटे सतर्क रहने की दी सलाह
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने सोमवार को सुबह एक वीडियो संदेश जारी कर लोगों से अपील की कि वे भारी बारिश में, खासकर नदियों और नालों के पास जाने से बचें और मौसम विभाग की चेतावनी को देखते हुए अगले 24 घंटे सतर्क रहें. उन्होंने सभी विधायकों से अपने-अपने निर्वाचन क्षेत्रों में रहने और संकट में लोगों की मदद करने के लिए भी कहा. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने संकट में फंसे लोगों की मदद के लिए तीन नंबर जारी किए हैं.
हिमाचल में अगले दो दिनों के लिए अलर्ट जारी
हिमाचल प्रदेश के मंत्री जगत सिंह नेगी ने राज्य में लगातार बारिश के बीच मौजूदा स्थिति पर जानकारी दी. उन्होंने बताया, अब तक, सड़क दुर्घटनाओं और इसी तरह के कारणों से 20 से अधिक लोगों की जान जा चुकी है. भूस्खलन और बाढ़ के कारण जान का नुकसान उतना अधिक नहीं है. प्रमुख राष्ट्रीय राजमार्गों, जिला और लिंक सड़कों सहित 1300 से अधिक सड़कें राज्य प्रभावित हैं. हम अगले दो दिनों के लिए हाई अलर्ट पर हैं.
हिमाचल प्रदेश में बारिश का कहर जारी, मनाली में 20 लोगों को बचाया गया, राज्यभर में 300 लोग फंसे
हिमाचल प्रदेश में सोमवार को लगातार तीसरे दिन भी बारिश का कहर जारी है जहां पर्यटन स्थल मनाली में फंसे 20 लोगों को बचा लिया गया है लेकिन अभी भी अलग-अलग हिस्सों में लगभग 300 लोग फंसे हुए हैं. मौसम विभाग ने सोमवार को अत्याधिक बारिश का ‘रेड अलर्ट’ जारी किया है. इससे एक दिन पहले राज्य में भारी बारिश के चलते जगह – जगह भूस्खलन हुआ, घरों को नुकसान हुआ और लोगों को जान भी गंवानी पड़ी.
323.30 करोड़ रुपये के नुकसान का अनुमान
हिमाचल के उपमुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने जानकारी दी कि जल शक्ति विभाग की 4,680 परियोजनाएं क्षतिग्रस्त हो गईं जिससे 323.30 करोड़ रुपये के नुकसान का अनुमान है. चंडीगढ़-मनाली राष्ट्रीय राजमार्ग कई स्थानों पर भूस्खलन और बाढ़ के कारण अवरुद्ध है. शिमला-किन्नौर सड़क भी भूस्खलन और चट्टानें गिरने के कारण यातायात के लिए बंद है.
मंडी में 80 लोगों को रेस्क्यू कर बचाया गया
हिमाचल प्रदेश के सांबशिवन, मंडी की एसपी सौम्या ने बताया, जो लोग नदी के बिल्कुल पास रह रहे हैं ऐसे 80 लोगों को रेस्क्यू किया गया है. नदी के निकट वाले घोरों को भी खाली कराया गया है. हम लगातार अभी इलाकों का दौरा कर रहे हैं.