चीन के सामान का बहिष्कार करने की बात जबसे शुरू हुई है, चीन के तेवर थोड़े नरम दिख रहे हैं. पूर्वी लद्दाख में सीमा विवाद (LAC) पर जारी गतिरोध के बीच चीनी विदेश मंत्रालय का बड़ा बयान आया है. चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा है कि भारत के साथ हम शांति चाहते हैं, सीमा पर विवाद को हम आगे नहीं बढ़ाना चाहते हैं. चीन और भारत वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर शांति कायम रखने और गतिरोध को बातचीत से सुलझाने एवं दोनों देशों के नेतृत्व के बीच बनी सहमति को लागू करने पर सहमत हुए हैं. भारत और चीन सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति बनाए रखने के लिए एक साथ काम करते हैं, ताकि द्विपक्षीय संबंधों के स्थिर विकास के लिए अनुकूल माहौल बनाया जा सके.
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हुआ ने कहा कि सीमा क्षेत्रों में पूरी स्थिति पर गौर करें तो यह आमतौर पर यह स्थिर और नियंत्रण में है. चीन और भारत के बीच बातचीत और परामर्श के माध्यम से ऐसे मुद्दों को ठीक से हल करने की क्षमता और इच्छाशक्ति है. एएनआई के मुताबिक, चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता हुआ चुनयिंग की यह टिप्पणी सीमा पर मौजूदा गतिरोध को द्विपक्षीय समझौते के तहत सुलझाने के लिए सैन्य स्तर पर हुई मैराथन बैठक के दो दिन बाद आयी है.
Chinese FM Spokesperson Hua Chunying: Border areas situation were discussed during the meeting b/t Chinese & Indian military officials on Jun 6. #China & #India have maintained close communication on resolving border issues through diplomatic & military channels. (1/3)
— Embassy of The People's Republic of China in India (@China_Amb_India) June 8, 2020
उन्होंने कहा कि 6 जून को भारत और चीन के कमांडरों के बीच चुशुल मोल्दो क्षेत्र में बैठक हुई और दोनों पक्षों में विचार विमर्श किया. कहा कि कहा, हाल में कूटनीतिक और सैन्य माध्यमों से दोनों पक्ष सीमा की मौजूदा स्थिति पर संवाद कर रहे हैं. उन्होंने कहा, एक सहमति यह बनी है कि दोनों पक्षों को दोनों देशों के नेताओं के बीच सहमति को लागू करने की जरूरत है ताकि अंतर विवाद में नहीं तब्दील हो जाए.
हुआ चुनयिंग चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्देशों का संदर्भ दे रही थी जो दो अनौपचारिक शिखर सम्मेलन के बाद दिए गए थे. चीनी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता ने आगे कहा, दोनों पक्ष सीमा पर शांति और धैर्य कायम रखने के लिए काम करेंगे और अच्छा वातावरण बनाएंगे. उन्होंने कहा, हालात स्थिर और नियंत्रण में है और दोनों पक्ष संबंधित मुद्दे को सुलझाने के लिए विचार-विमर्श को तैयार हैं.
चीन की ओर से यह टिप्पणी भारतीय विदेश मंत्रालय के बयान के एक दिन बाद आयी है जिसमें कहा गया था कि भारत और चीन सीमा पर जारी मौजूदा गतिरोध को शांतिपूर्ण सुलझाने के लिए द्विपक्षीय समझौते के तहत कूटनीतिक और सैन्य स्तर पर बातचीत जारी रखने को सहमत हैं. गौरतलब है कि लेह स्थित 14वीं कॉर्प के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल हरिंदर सिंह के नेतृत्व में भारतीय प्रतिनिधिमंडल ने चीन के तिब्बत सैन्य जिले के कमांडर मेजर जनरल लियू लिन के नेतृत्व वाले प्रतिनिधिमंडल से चीनी नियंत्रण वाले क्षेत्र के मोल्दो में 6 जून को मैराथन बातचीत की. दोनों देश सीमा विवाद को लेकर एक-दूसरे से बातचीत कर रहे हैं लेकिन 6 जून को हुई वार्ता में कोई समाधान नहीं निकला. हालांकि लद्दाख में जारी सीमा विवाद पर बातचीत के दरवाजे अभी बंद नहीं हुए हैं. दोनों देश आपसी तनाव खत्म करने के लिए सैन्य और कूटनीतिक स्तर पर बातचीत आगे भी जारी रखेंगे.
तकरीबन एक महीने से भारत-चीन के बीच तनावपूर्ण स्थिति बनी हुई है. दोनों ही देश के जवान आमने-सामने डटे हुए हैं. दोनों देशों के बीच उच्च स्तर की बैठक भी हो चुकी है लेकिन अभी तक कोई ठोस निष्कर्ष नहीं निकला है. दोनों देशों के बीच सीमा को लेकर जारी गतिरोध भले ही बातचीत के जरिए समाप्त करने की बात कही जा रही हो लेकिन चीन की तरफ से लगातार जिस तरह की हरकत की जा रही है उसपर भरोसा करना मुश्किल है. अब दोनों देशों के बीच वीडियो वार शुरू हो गया है. दोनों देश अपनी सैन्य ताकतों को दिखाने के लिए वीडियो का सहारा ले रहे हैं. इसकी शुरुआत भी चीन की तरफ से ही की गई है. हालांकि चीन के सामान का बहिष्कार करने की बात जबसे शुरू हुई है, चीन के तेवर थोड़े नरम दिख रहे हैं.
Posted By: Utpal kant