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राहुल गांधी को ‘सुप्रीम’ राहत, कांग्रेस में जश्न, कहा- सच्चाई और लोकतंत्र की जीत, यहां जानें पूरा घटनाक्रम

राहुल गांधी को सुप्रीम कोर्ट से मिली बड़ी राहत पर खुद राहुल गांधी मीडिया से रूबरू हुए. यह पहला मौका था जब कोर्ट के फैसले के बाद राहुल गांधी मीडिया के सामने आये थे. हालांकि उन्होंने इस मामले को लेकर संक्षिप्त बयान देते हुए कहा कि, आज नहीं तो कल, कल नहीं तो परसों सच्चाई की यह जीत होनी ही थी.

मोदी सरनेम टिप्पणी मामले में राहुल गांधी को सुप्रीम कोर्ट से राहत मिल गई है. पूरे देश में कांग्रेस नेता और कार्यकर्ता जश्न मना रहे हैं. सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद राहुल गांधी की सदस्यता फिर से बहाल हो जाएगी. साथ ही वो अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव भी लड़ सकते हैं. उन्हें सरकारी  आवास भी वापस मिल जाएगा. सुप्रीम कोर्ट के फैसले को कांग्रेस नेता और कार्यकर्ता बड़ी जीत के रूप में देख रहे हैं. पार्टी का कहना है कि अब लोकसभा की कार्यवाही में हिस्सा ले सकते हैं. इसी कड़ी में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा है कि आज का दिन हमारे लिए खुशी का दिन है, क्योंकि यह लोकतंत्र, संविधान और सच्चाई की जीत हुई है.

उन्होंने कहा कि मैं सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करता हूं, यह एक उदाहरण है कि न्याय दिया जा सकता है. यह सिर्फ कांग्रेस नेता राहुल गांधी की जीत नहीं है बल्कि पूरे देश की जीत है. उन्होंने कहा कि वह एक ऐसे व्यक्ति हैं जो सच्चाई, राष्ट्रहित, युवाओं के अधिकारों और देश में महंगाई के लिए लड़ते हैं. राहुल गांधी को 24 घंटे के भीतर अयोग्य घोषित कर दिया गया था. देखते हैं कितने घंटे में उन्हें बहाल किया जाता है.

वहीं, राहुल गांधी को सुप्रीम कोर्ट से मिली बड़ी राहत पर खुद राहुल गांधी मीडिया से रूबरू हुए. यह पहला मौका था जब कोर्ट के फैसले के बाद राहुल गांधी मीडिया के सामने आये थे. हालांकि उन्होंने इस मामले को लेकर संक्षिप्त बयान देते हुए कहा कि, आज नहीं तो कल, कल नहीं तो परसों सच्चाई की यह जीत होनी ही थी. राहुल ने कहा कि मेरा रास्ता साफ है. मेरे मन में स्पष्ट है कि मुझे क्या करना है और मेरा काम क्या है. इस दौरान राहुल गांधी ने कहा कि मैं उन लोगों को धन्यवाद देता हूं जिन्होंने हमारी मदद की. राहुल गांधी ने कहा कि मैं लोगों को उनके प्यार और समर्थन के लिए भी धन्यवाद देता हूं. राहुल ने इससे पहले एक ट्वीट भी किया था. अपने ट्वीट में उन्होंने कहा कि आज नहीं तो कल, कल नहीं तो परसों सच्चाई की जीत होती है, मुझे क्या करना है, इसको लेकर मेरे मन में स्पष्ट है.

कैसे होगी राहुल गांधी की सदस्यता बहाल
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अब सवाल है कि राहुल गांधी की संसद सदस्यता कब बहाल होगी. खरगे ने कटाक्ष करते हुए कहा कि देखना है कि अब राहुल की सदस्यता कितनी देर में बहाल होती है. बता दें, कांग्रेस नेता राहुल गांधी की लोकसभा सदस्यता बहाली के लिए उन्हें या उनके प्रतिनिधि को लोकसभा सचिवालय को उच्चतम न्यायालय के उस आदेश की एक प्रति दिखानी होगी जिसमें उनकी दोषसिद्धि पर रोक लगा दी गयी है. इसी कड़ी में लोकसभा के पूर्व महासचिव पीडीटी अचारी ने कहा कि जब सचिवालय को आदेश की प्रति मिल जाएगी तो वह राहुल की अयोग्यता को समाप्त करने के संबंध में अधिसूचना जारी करने की प्रक्रिया शुरू करेगा. बता दें, राहुल को ‘मोदी सरनेम’ को लेकर की गयी टिप्पणी के मामले में गुजरात की एक अदालत ने मार्च में दोषी करार दिया था और दो साल कारावास की सजा सुनाई थी. इसके बाद 23 मार्च को राहुल को लोकसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित कर दिया गया था.

क्या है पूरा घटनाक्रम, जानें कब क्या हुआ
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने मोदी सरनेम टिप्पणी को लेकर 2019 में दायर मानहानि के मुकदमे में कांग्रेस नेता राहुल गांधी की दोष सिद्धि पर शुक्रवार को रोक लगा दी है जिससे उनकी लोकसभा की सदस्यता बहाल होने का रास्ता साफ हो गया है.राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि के मुकदमे की सुनवाई का घटनाक्रम ऐसा है.

  • 13 अप्रैल, 2019 कर्नाटक के कोलार में एक चुनावी रैली में राहुल गांधी ने कहा था कि ‘नीरव मोदी हो, ललित मोदी हो या नरेन्द्र मोदी, सभी चोरों के उपनाम मोदी क्यों हैं?’

  • 15 अप्रैल, 2019 – सूरत से भारतीय जनता पार्टी के विधायक पूर्णेश मोदी ने इस टिप्पणी को लेकर राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का फौजदारी मुकदमा दर्ज कराया.
    07 जुलाई, 2019- मानहानि मामले में राहुल गांधी पहली बार सूरत की मेट्रोपॉलिटन अदालत में पेश हुए.

  • 23 मार्च, 2023- सूरत मेट्रोपॉलिटन अदालत ने राहुल गांधी को मानहानि का दोषी करार देते हुए दो साल कैद की सजा सुनाई.

  • 24 मार्च, 2023- अदालत से दोषी करार दिए जाने और दो साल की सजा सुनाये जाने के बाद राहुल गांधी को संसद की सदस्यता के लिए अयोग्य घोषित कर दिया गया.

  • 02 अप्रैल, 2023: राहुल गांधी ने मेट्रोपॉलिटन अदालत के फैसले को सूरत की सत्र अदालत में चुनौती दी. यह मामला और दोष सिद्धि पर रोक लगाने का अनुरोध अभी अदालत में लंबित है.

  • 20 अप्रैल, 2023: सूरत की सत्र अदालत ने राहुल गांधी को जमानत दी, लेकिन दोष सिद्धि पर रोक लगाने से इंकार किया.

  • 25 अप्रैल, 2023: राहुल गांधी ने निचली अदालत के फैसले के खिलाफ उच्च न्यायालय में समीक्षा याचिका दायर की.

  • 07 जुलाई, 2023: गुजरात उच्च न्यायालय ने दोष सिद्धि पर रोक लगाने का अनुरोध करने वाली राहुल गांधी की याचिका खारिज कर दी.

  • 15 जुलाई, 2023: राहुल गांधी ने गुजरात उच्च न्यायालय के फैसले को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी, दलील दी कि अगर इस पर स्थगन नहीं लगाया गया तो यह अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता पर करारा प्रहार होगा.

  • 21 जुलाई, 2023: सुप्रीम कोर्ट ने राहुल गांधी की याचिका पर सुनवाई करते हुए गुजरात के मंत्री पूर्णेश मोदी और राज्य सरकार को नोटिस जारी किया, लेकिन उनकी दोष सिद्धि पर स्थगन लगाने से इनकार किया.

  • 04 अगस्त, 2023: उच्चतम न्यायालय ने राहुल गांधी की दोष सिद्धि पर रोक लगायी जिससे उनकी लोकसभा की सदस्यता बहाली का रास्ता साफ हो गया है.

यह नफरत के खिलाफ मोहब्बत की जीत
राहुल गांधी की सजा पर रोक लगाये जाने के बाद कांग्रेस की ओर से पहली प्रतिक्रिया यह आयी है कि यह नफरत के खिलाफ मोहब्बत की जीत है. सत्यमेव जयते – जय हिंद. सुप्रीम कोर्ट के फैसले से पूरे देश में कांग्रेसी नेता और कार्यकर्ता जश्न मना रहे हैं. मिठाईयां बांट रहे हैं, और आतिशबाजी कर रहे हैं. इसी कड़ी में कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि यह बहुत बड़ी जीत है. आज बहुत खुशी का दिन है. सोमवार को जैसे ही संसद का सत्र शुरू होगा मैं लोकसभा अध्यक्ष से यह कहूंगा कि उनकी सदस्यता बहाल करने को लेकर नोटिफिकेशन जारी करें.


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राहुल गांधी कोई कुख्यात अपराधी नहीं- सिंघवी
इधर, राहुल गांधी के वकील अभिषेक सिंघवी ने कोर्ट में कहा कि उनके मुवक्किल कोई कुख्यात अपराधी नहीं है. बीजेपी के कार्यकर्ताओं ने उनके खिलाफ कई मामले दर्ज कराये हैं लेकिन उन्हें किसी भी मामले में कोई सजा नहीं हुई है. गौरतलब है कि सूरत सेशंस कोर्ट द्वारा दी गयी सजा पर गुजरात हाईकोर्ट ने रोक लगाने से इनकार करते हुए याचिका खारिज कर दी थी. वहीं पूर्णेश गांधी की तरह से सुप्रीम कोर्ट में उपस्थित हुए वकील ने कोर्ट में कहा कि राहुल गांधी के खिलाफ ढेर सारे सबूत उपलब्ध हैं. आपराधिक मानहानि मामले में गुजरात के पूर्णेश मोदी की ओर से पेश वरिष्ठ वकील ने न्यायालय से कहा कि राहुल गांधी को सजा से छूट नहीं दी जानी चाहिए.
भाषा इनपुट के साथ

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