Uttarakhand Glacier Burst Latest News Update उत्तराखंड के चमोली जिले में रविवार को ग्लेशियर फटने के बाद से तपोवन टनल में अभी भी 34 लोगों के फंसे होने की सूचना है. जोशीमठ पहुंचे केंद्रीय मंत्री आरके सिंह ने इस मामले पर कहा है कि इस वक्त हमारे लिए सबसे बड़ी चुनौती सुरंग में फंसे करीब 34 लोगों को बचाना हैं. उन्होंने कहा कि अभी हम सुरंग के अंदर 70 मीटर तक गए हैं और करीब 180 मीटर तक और जाना है. किस तरह से हम सुरंग से मलवा निकाले इसके लिए पदाधिकारियों के साथ बातचीत की गयी है.
इस वक्त हमारे लिए सबसे बड़ी चुनौती सुरंग में फंसे करीब 34 लोगों को बचाना हैं। अभी हम सुरंग के अंदर 70 मीटर तक गए हैं और करीब 180 मीटर तक और जाना है। किस तरह से हम सुरंग से मलवा निकाले इसके लिए पदाधिकारियों के साथ बातचीत की गई है: केंद्रीय मंत्री आर.के. सिंह, उत्तराखंड त्रासदी पर pic.twitter.com/IcJ5JJXRtg
— ANI_HindiNews (@AHindinews) February 8, 2021
वहीं, समाचार एजेंसी भाषा की रिपोर्ट के मुताबिक, उत्तराखंड के चमोली जिले की ऋषिगंगा घाटी में अचानक आई विकराल बाढ़ के बाद प्रभावित क्षेत्र में बचाव और राहत अभियान में तेजी लायी गयी है. ऋषिगंगा घाटी के रैंणी क्षेत्र में हिमखंड टूटने से ऋषिगंगा और धौलीगंगा नदियों में रविवार को अचानक आई बाढ़ से प्रभावित 13.2 मेगावाट ऋषिगंगा और 480 मेगावाट की निर्माणाधीन तपोवन विष्णुगाड पनबिजली परियोजनाओं में लापता हुए लोगों की तलाश के लिए सेना, भारत तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP), राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (NDRF) के जवानों के बचाव और राहत अभियान में जुट गए, जिससे सोमवार को इन कार्यों में तेजी आई.
उत्तराखंड राज्य आपदा परिचालन केंद्र से मिली जानकारी के अनुसार, आपदा में अब तक कुल 153 लोगों के लापता होने की सूचना है जिनमें से 11 के शव बरामद हो चुके हैं. इसके अलावा, आपदा प्रभावित क्षेत्र से अब तक 27 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला जा चुका है. इनमें से एनटीपीसी की तपोवन-विष्णुगाड परियोजना की छोटी सुरंग से 12, जबकि ऋषिगंगा पनबिजली परियोजना स्थल से 15 लोगों को सुरक्षित निकाला गया. बचाव और राहत अभियान जोरों से जारी है जिसमें बुलडोजर, जेसीबी आदि भारी मशीनों के अलावा रस्सियों और खोजी कुत्तों का भी उपयोग किया जा रहा है.
तपोवन क्षेत्र में बिजली परियोजना की बड़ी सुरंग के घुमावदार होने के कारण उसमें से मलबा निकालने तथा अंदर तक पहुंचने में मुश्किलें आ रही हैं. एनडीआरएफ के प्रमुख एसएन प्रधान ने ट्विटर पर बताया कि एमआई-17 हेलिकॉप्टरों की मदद से घटनास्थल पर और दलों को भेजा गया है. ये हेलिकॉप्टर जोशीमठ में हैलिपेड पर उतरे. उन्होंने कहा कि एजेंसियां करीबी समन्वय में काम कर रही हैं. रविवार शाम को एक छोटी सुरंग से आईटीबीपी के जवानों ने कम से कम 12 लोगों को बचाया था. उनमें से तीन को आईटीबीपी के जोशीमठ स्थित अस्पताल में भर्ती करवाया गया है. आईटीबीपी के एक अधिकारी ने बताया कि उन लोगों की हालत ठीक है.
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