Jharkhand News: रांची नगर निगम समेत राज्य के 34 नगर निकायों का कार्यकाल 28 अप्रैल को समाप्त हो जायेगा. इसके साथ ही नगर निकायों में जनता द्वारा चुने गये जनप्रतिनिधियों के अधिकार समाप्त हो जायेंगे. वहीं, निकायों के बोर्ड भी भंग कर दिये जायेंगे. इसके बाद मेयर, डिप्टी मेयर, अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, वार्ड पार्षद सभी अधिकारविहीन हो जायेंगे. नगर निकायों की ओर से वाहन, वेतन सहित मिलनेवाले सभी भत्ते भी बंद कर दिये जायेंगे.
सेवा विस्तार नहीं मिलने पर अधिकारियों के पास होगा सारा पावर
अगर इन चुने हुए जनप्रतिनिधियों को सेवा विस्तार नहीं दिया जाता है, तो सरकार द्वारा निकायों के अधिकारियों को ही सारा पावर सौंप दिया जायेगा. इसके बाद लोगों को अपने छोटे-मोटे कामों को कराने के लिए पार्षदों की जगह पदाधिकारियों के दफ्तर के चक्कर लगाने पड़ेंगे. वहीं, वार्डवारा योजनाओं का बंटवारा और फंड का आवंटन निगम बोर्ड की बैठकों में होता था. जनप्रतिनिधियों का कार्यकाल समाप्त होने के साथ ही अफसर अब अपने हिसाब से योजनाओं को मंजूरी देंगे.
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इन निकायों का खत्म हो रहा कार्यकाल
रांची नगर निगम समेत राज्य के जिन 34 नगर निकायों का कार्यकाल 28 अप्रैल को खत्म हो रहा है, उनमें हजारीबाग, गिरिडीह, मेदिनीनगर, आदित्यपुर नगर निगम, गढ़वा, चतरा, मधुपुर, गोड्डा, साहिबगंज, पाकुड़, मिहिजाम, चिरकुंडा, फुसरो, गुमला, लोहरदगा, सिमडेगा, रामगढ़, चाईबासा और कपाली नगर परिषद शामिल हैं. इसके अलावा नगर उंटारी, हुसैनाबाद, छतरपुर, लातेहार, डोमचांच, राजमहल, बरहरवा, बासुकिनाथ, जामताड़ा, खूंटी, बुंडू और सरायकेला-खरसावां नगर पंचायतों का कार्यकाल भी 28 अप्रैल को ही खत्म हो रहा है.