Chandra Grahan 2020, Lunar Eclipse 2020, Date & Time, Shubh Muhurat, According To Rashi, Effects, Sutak Kal, Visible in India: 30 नवंबर अर्थात अगले सप्ताह के सोमवार को साल का आखिरी चंद्रग्रहण लगने जा रहा है. कार्तिक मास की पूर्णिमा तिथि को पड़ने वाला यह ग्रहण रोहिणी नक्षत्र और वृषभ राशि में लगने वाला है. ऐसे में आइये जानते हैं भारत में यह दिखेगा या नहीं और दिखेगा तो किस मुहूर्त में, इसके अलावा जानें सूतक काल का समय और इसका ज्योतिषीय प्रभाव…
चंद्रग्रहण का वैज्ञानिक के साथ-साथ धार्मिक मान्यता भी है. जहां वैज्ञानिक इसे महज सामामन्य खगोलीय घटना बताते हैं. वहीं धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इसका असर सीधे तौर पर मनुष्यों के जीवन काल पर पड़ता है. ज्योतिष शास्त्र की मानें तो ग्रह की दशा और दिशा ही हमारे लाइफ स्टाइल में सकारात्मक और नकारात्मक गतिविधियों का कारण बनती है.
हालांकि, 30 नवंबर को पड़ने वाला ग्रहण एक उपच्छाया चंद्र ग्रहण है. अर्थात इसका कोई सूतक काल नहीं होगा. दरअसल, धार्मिक मान्यताओं के अनुसार जिस ग्रहण का कोई सूतक काल नहीं होता वह ज्यादा प्रभावशाली नहीं होता.
चंद्रमा जब धरती की वास्तविक छाया पर ना जाकर उसकी उपच्छाया से ही लौट जाती है तो इसे उपच्छाया चंद्रग्रहण कहा जाता है. इस स्थिति में चांद पर एक धुंधली परत बनी नजर आती है.
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धार्मिक मान्यताओं के अनुसार ग्रहण का सीधा प्रभाव जातक पर पड़ता है. ऐसे में क्योंकि साल का अंतिम चंद्र ग्रहण एक उपच्छाया ग्रहण है इसलिए यह ज्यादा प्रभावशाली नहीं है. लेकिन, क्योंकि यह वृष राशि में पड़ने वाला है. ऐसे में इसका सर्वाधिक प्रभाव वृष राशि के जातकों पर देखने को मिलेगा. इस राशि के जातक को विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है. उन्हें अपनी माता की सेहत का ख्याल रखना होगा. साथ ही साथ खुद मानसिक तनाव से दूर रहना होगा.
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दोपहर 1 बजकर 04 मिनट पर एक छाया से पहला स्पर्श
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दोपहर 3 बजकर 13 मिनट पर परमग्रास चंद्रग्रहण
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शाम 5 बजकर 22 मिनट पर उपच्छाया से अंतिम स्पर्श
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चंद्रग्रहण की समय सभी राशि वाले भगवान का नाम जरूर जपें,
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इस दौरान मंत्र जाप से आप पर पड़ने वाले प्रभाव कम हो सकते है,
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इस दौरान बाहर न निकलें,
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गर्भवती महिलाएं और बुर्जूगों को विशेष ख्याल रखना होगा
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ग्रहण से पूर्व सभी भोजन में तुलसी पत्ता जरूर डाल दें या पहले ही भोजन समाप्त कर लें
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ग्रहण के बाद स्नान करके ही कोई शुभ कार्य या भोजन करें
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ग्रहण के बाद वृष राशि के जातक घर में अनुष्ठान या हवण आदि जरूर करवा लें.
खबरों की मानें तो भारत में यह आंशिक रूप से देखा जा सकता है. जबकि, अमेरिका, प्रशांत महासागर, ऑस्ट्रेलिया और एशिया में इस चंद्रग्रहण को अच्छे से देखा जा सकता है.
ग्रहण काल के समय भोजन नहीं करना चाहिए. क्योंकि ये शरीर के लिए नुकसानदायक माना गया है. घर में पके हुए भोजन में सूतक काल लगने से पहले ही तुलसी के पत्ते डालकर रख देने चाहिए. इससे भोजन दूषित नहीं होता है.
Posted By: Sumit Kumar Verma