Vivah Muhurat 2024: आज से खरामास खत्म हो जाएगा. 13 अप्रैल दिन शनिवार के बाद फिर से शादी की शहनाई गूंजेंगी. विवाह, गृह प्रवेश, शुभ कार्य की शुरुआत के लिए लोगों को खरमास के खत्म होने का इंतजार था. आज सूर्य खरमास से बाहर आएंगे. इसके साथ ही वैवाहिक कार्यक्रम शुरू होगा. खरमास खत्म होते ही विवाह, देव प्रतिष्ठा, नए घर का निर्माण, गृह प्रवेश जैसे मांगलिक कार्य किए जाएंगे. खरमास खत्म होने के बाद 18 अप्रैल से 22 अप्रैल के बीच शादियों का योग बन रहा है. अप्रैल महीने में कुल पांच शुभ लग्न मुहूर्त हैं. 18, 19, 20, 21 और 22 अप्रैल को विवाह का शुभ मुहूर्त है. बता दें कि खरमास को शुभ काल नहीं माना जाता है, इसलिए इस दौरान शुभ कार्य करने की मनाही होती है. आइए जानते है कि शादी-विवाह के लिए कब-कब शुभ मुहूर्त है-
सूर्य कब मेष राशि में करेंगे प्रवेश
ग्रहों के राजा सूर्य देव आज 13 अप्रैल को रात 09 बजकर 15 मिनट पर राशि परिवर्तन करेंगे. सूर्य मीन राशि से निकलकर मेष राशि में प्रवेश करेंगे. सूर्य देव मेष राशि में 1 माह तक विराजमान रहेंगे. सूर्य के मीन राशि से निकलते ही खरमास समाप्त हो जाएगा. इसके बाद सभी प्रकार के शुभ कार्य किए जाने लगेंगे. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, सूर्य देव जब तक मीन राशि में विराजमान रहते है, तब तक खरमास खरमास लगता है. सूर्य के मीन राशि में पहुंचते ही खरमास शुरू हो जाता है. वहीं जब सूर्यदेव मीन राशि से बाहर निकल जाते है, तो खरमास की समाप्ति होती है.
अप्रैल 2024 मे कब अस्त हो रहा शुक्र
शुक्र ग्रह 25 अप्रैल 2024 को सुबह 05 बजकर 19 मिनट पर अस्त हो जाएंगे. शुक्र ग्रह 23 अप्रैल से 30 जून 2024 के बीच अस्त रहेंगे. शुक्र देव 23 अप्रैल से 30 जून तक अस्त हो रहे हैं’ इसलिए इस अवधि में शादी-विवाह कार्य संपन्न नहीं हो सकेगा. क्योंकि शादियों के लग्न मुहूर्त में गुरु और शुक्र ग्रह का अच्छी स्थिति बेहद जरूरी होता है, इनमें से एक भी ग्रह अस्त होने या खराब स्थिति में होने पर उस तिथि में विवाह संपन्न नहीं होता है. बता दें कि शादियों के लग्न मुहूर्त देखते समय गुरु और शुक्र ग्रह की अच्छी स्थिति को सबसे पहले देखा जाता है. इनमें से ग्रह अस्त होने या खराब स्थिति में होने पर विवाह का मुहूर्त नहीं बनता है.
शुक्र अस्त में क्यों नहीं होते मांगलिक कार्य ?
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार शुक्र ग्रह को सांसारिक और भौतिक सुखों का कारक माना जाता है, इसलिए शुक्र अस्त होने पर विशेषकर मांगलिक कार्यों में विराम लग जाता है. बतादें कि ग्रहों के राजा सूर्य के निकट जब कोई ग्रह एक तय दूरी पर आ जता है तो वह सूर्य ग्रह के प्रभाव से बलहीन हो जाता है, इस अवस्था में ग्रह का अस्त होना मानी जाती है. शुक्रदेव सुख, वैवाहिक जीवन, विलासता, विवाह, धन, ऐश्वर्य का कारक माने गए हैं. इसलिए जब शुक्र देव अस्त अवस्था में चले जाते है तो सभी प्रकार के मांगलिक कार्य पर विराम लग जाते है.
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- शादी विवाह के शुभ मुहूर्त
- अप्रैल – 18, 19, 20, 21, 22 ( 5 दिन)
- जुलाई – 3, 9, 10, 11, 12, 13, 14, 15 (8 दिन)
- अक्टूबर – 3,7,17,21,23,30 (6 दिन)
- नवंबर – 16, 17, 18, 22, 23, 24, 25, 26, 28 ( 9 दिन)
- दिसंबर – 2, 3, 4, 5, 9, 10, 11, 13, 14 व 15( 10 दिन)