Nima Rinji Sherpa: पर्वतारोही नीमा रिंजी शेरपा ने इतिहास रच दिया. 18 वर्षीय नीमा ने शनिवार को दुनिया की तीसरी सबसे ऊंची पर्वत चोटी माउंट कंचनजंगा पर चढ़ाई की. इसके साथ ही नीमा माउंट कंचनजंगा पर चढ़ने वाले सबसे कम उम्र के व्यक्ति बन गए हैं. इस सफर में खास बात ये थी कि नीमा ने चढ़ाई पूरी करने के बाद चोटी पर खड़े होकर आईपीएल की सफल टीम मुंबई इंडियंस का झण्डा फहराया. मुंबई इंडियंस टीम के झण्डा के साथ अपनी तस्वीर साझा करते हुए उन्होंने मुंबई इंडियंस टीम के पूर्व कप्तान और सलामी बल्लेबाज रोहित और स्टार बल्लेबाज सूर्यकुमार यादव का जिक्र किया. उन्होंने लिखा मैं पिछले दिनों रोहित और सूर्यकुमार से बात की थी. जहां मैंने उन्हें अपने सफर के बारे में बताया था और मैंने उन्हें वादा भी किया था कि मैं विश्व की तीसरी सबसे ऊंची चोटी पर मुंबई इंडियंस का झंडा फहराऊंगा.
Nima Rinji Sherpa ने शेयर की तस्वीर
आपकी जानकारी के लिए बता दें, नीमा रिंजी शेरपा (Nima Rinji Sherpa) की तस्वीर सोशल मीडिया पर काफी तेजी से वायरल हो रहा है. इस तस्वीर में नीमा रिंजी शेरपा के हाथों में मुंबई इंडियंस का झंडा नजर आ रहा है. नीमा के द्वारा दिए गए बयान से साफ प्रतीत हो रहा है कि नीमा इस साल हुए आईपीएल 2024 अभियान के दौरान मुंबई इंडियंस के डगआउट में मौजूद थे. जहां वह मुंबई इंडियंस के क्रिकेटर रोहित शर्मा और सूर्यकुमार यादव से मिले. जिसके बाद मुंबई इंडियंस के दोनों खिलाड़ियों ने नीमा रिंजी शेरपा के जोश की सराहना की. बहरहाल, सोशल मीडिया यूजर्स लगातार नीमा रिंजी शेरपा के पोस्ट पर कमेंट्स कर रहे हैं.
सुबह 9:30 बजे शिखर पर पहुंचे Nima Rinji Sherpa
18 वर्षीय नीमा रिंजी शेरपा शनिवार को दुनिया की तीसरी सबसे ऊंची पर्वत चोटी माउंट कंचनजंगा पर चढ़ने वाले सबसे कम उम्र के व्यक्ति बन गए. वह अपने पर्वतारोही साथी पासंग नूरबू, रूसी पर्वतारोही एलिना और चार शेरपा गाइडों: देंडी शेरपा, फुरा त्सेरिंग शेरपा, फुर्बा कुसांग शेरपा और आंग तेनजी शेरपा के साथ सुबह 9:30 बजे शिखर पर पहुंचे. यह उपलब्धि नीमा के प्रभावशाली पर्वतारोहण रिकॉर्ड में जुड़ गई है. पिछले साल, वह माउंट के2 पर चढ़ने वाले सबसे कम उम्र के पर्वतारोही बने और 17 साल की उम्र में माउंट एवरेस्ट की चोटी से माउंट लोत्से की चोटी तक पहुंचने वाले सबसे कम उम्र के पर्वतारोही बने. निमा ने अब तक 8,000 मीटर से अधिक ऊंची दुनिया की 14 चोटियों में से 13 पर सफलतापूर्वक चढ़ाई कर ली है, अब उन्हें केवल माउंट शिशापांगमा पर ही चढ़ना बाकी है.