बौंसी. एक ओर पूरे देश में 17 सितंबर से 2 अक्टूबर तक स्वच्छता सेवा पखवाड़ा का कार्यक्रम चलाया जा रहा है. मंदार तराई स्थित आर्ट एंड क्राफ्ट विलेज से भी 17 सितंबर से स्वच्छता कार्यक्रम की शुरुआत की गयी थी. लेकिन नगर पंचायत क्षेत्र में ऐसे कार्यक्रमों से अधिकारियों और संवेदक को कोई फर्क नहीं पड़ रहा. हालात यह है कि नगर पंचायत के वार्ड नंबर 14 के वार्ड पार्षद अमीर पाठक के घर के ठीक सामने मुख्य मार्ग पर जमा कचरा नगर पंचायत की सफाई के साथ-साथ सरकार के द्वारा आयोजित स्वच्छता ही सेवा कार्यक्रम पर भी ठेंगा दिखा रही है. यहां फैली गंदगी में अब जानवर अपना भोजन ढूंढ कर आसपास को पूरा गंदा कर दे रहे हैं. जिसके कारण गंदगी से उठ रही दुर्गंध के कारण इसके आसपास खड़ा रहना भी मुश्किल हो गया है. यही स्थिति वार्ड 15 की है. यहां पर भी गंदगी फैली हुई है. ऐसे में यहां पर चिराग तले अंधेरा की कहावत सटीक बैठ रही है. मालूम हो की बौंसी नगर पंचायत में स्वच्छता के तहत करीब 20 से 22 लाख रुपए प्रतिमाह खर्च कर रही है. लेकिन यह सारी सफाई की व्यवस्था केवल कागजों पर दिख रही है. शुक्रवार को नगर पंचायत के एसबीपी विद्या विहार विद्यालय में भी नगर अध्यक्ष कोमल भारती, कार्यपालक पदाधिकारी नेहा रानी सहित विभिन्न वार्ड पार्षदों की मौजूदगी में कार्यक्रम का आयोजन किया गया. बताया गया कि यहां पर बच्चों को स्वच्छता के लिए जागरूक करने का कार्य किया गया, लेकिन नगर पंचायत के विभिन्न वार्डों में फैली गंदगी को देखकर सहज अंदाजा लगाया जा सकता है कि स्वच्छता के लिए जब नगर पंचायत के अधिकारी और जनप्रतिनिधि ही जागरूक नहीं है तो बच्चों में किस तरह की जागरूकता दी जायेगी. कहती है नगर अध्यक्ष इस मामले में नगर अध्यक्ष कोमल भारती ने बताया कि कार्यपालक पदाधिकारी की उदासीनता की वजह से ऐसे मामले सामने आ रहे हैं. सफाई के लिए कई बार संवेदक के साथ-साथ ईओ को भी जानकारी दी गई है. नगर पंचायत के विभिन्न वार्डों में गंदगी है. सफाई संवेदक की एजेंसी को समाप्त कर नई एजेंसी को टेंडर देने की बात भी कई बार बोर्ड की बैठक में हुई है. लेकिन नगर पंचायत कार्यपालक पदाधिकारी के द्वारा इस दिशा में कोई कार्य अब तक नहीं किया गया है.
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