Bagaha News: बिहार के पश्चिम चंपारण जिला के बगहा- 2 के अंचल कार्यालय में शुक्रवार को समीक्षा बैठक आयोजित की गई. जिसमें अंचल अधिकारी (CO) निखिल कुमार ने हल्का कर्मियों को कड़े निर्देश दिए हैं. इस बैठक में सामने आया कि अंचल में दाखिल खारिज के 185 और परिमार्जन के 200 आवेदन लंबित है. इस पर नाराजगी व्यक्त करते हुए सीओ ने कर्मचारियों को फटकार लगाई और कहा कि सभी हल्का कर्मी अपने-अपने हल्का के दाखिल खारिज व परिमार्जनों के आवेदनों को समय से निष्पादित करें.
कार्य में लापरवाही पर होगी कार्रवाई
सीओ ने यह भी स्पष्ट किया कि यदि लंबित मामलों के निष्पादन कार्य में किसी भी स्तर पर कोताही होती है तो संबंधित हल्का कर्मी पर विभागीय कार्रवाई की अनुशंसा की जाएगी. इस दौरान उन्होंने पंचायत वार दाखिल खारिज और परिमार्जन के आवेदनों की भी समीक्षा की. साथ ही साथ हल्का कर्मियों को अपने-अपने आवंटित पंचायत में ही रहने का निर्देश दिया.
विकास योजनाओं से संबंधित भूमि प्रस्ताव जल्द सुपुर्द करने का निर्देश
सीओ ने बैठक में अतिक्रमण वाद एवं मुख्यमंत्री और डीएम के जनता दरबार से आये आवेदनों की जांच प्रतिवेदन भी समय पर उपलब्ध कराने का निर्देश दिया, ताकि वाद का ससमय निष्पादन किया जा सके. इसके अलावा सीओ ने हल्का कर्मियों को निर्देशित करते हुए कहा कि जिन हल्का से विकास योजनाओं से संबंधित भूमि का प्रस्ताव मांगा गया है. वे भी समय में भूमि का प्रस्ताव अंचल कार्यालय को सुपुर्द करें. ताकि इस मामले में अग्रिम कार्रवाई की जा सके. इस अवसर पर सीओ, सीआई सहित विभिन्न हल्का के हल्का कर्मचारी मौजूद थे.
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क्या होता है दाखिल-खारिज
दाखिल-खारी एक सरकारी प्रक्रिया है जिसके माध्यम से किसी संपत्ति के मालिकाना हक में हुए बदलाव को राजस्व रिकार्ड में दर्ज किया जाता है. जन कोई संपत्ति बेची जाती है, दान की जाती है या किसी और कारण से जमीन का मालिक बदल जाता है तो दाखिल-खारिज की प्रक्रिया की जाती है.
क्या होता है परिमार्जन
जमीन के रिकार्ड में अक्सर गलतियां हो जाती हैं. जैसे व्यक्ति का नाम, संपत्ति का क्षेत्रफल, सीमा आदि. इन गलतियों को सुधारने या रिकार्ड में बदलाव करने के लिए जो प्रक्रिया की जाती है उसे परिमार्जन कहते हैं.
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