एक ओर जहां एलपीजी का सिलिंडर सुगमता से उपलब्ध हो रहा है, दूसरी ओर अवैध तरीके से गैस रिफीलिंग का धंधा भागलपुर में खुलेआम चल रहा है. अवैध गैस रिफीलिंग के कारण कई जानलेवा घटनाएं हो चुकी हैं. रविवार को ही कोयला घाट काली मंदिर के समीप अवैध गैस रिफीलिंग के कारण आधा दर्जन घर ध्वस्त हो गये. बावजूद इसके जिला प्रशासन व अन्य जिम्मेदार कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है.
सभी चौक-चौराहे पर बर्तन व किराना दुकान की आड़ में, तो रिहायशी इलाके में चोरी-छिपे घर में चल रहा है धंधा
भागलपुर के विभिन्न मोहल्ले में यह धंधा धड़ल्ले से चल रहा है. तकरीबन सभी चौक-चौराहे पर बर्तन व किराना दुकान की आड़ में यह धंधा संचालित हो रहा है. विद्यार्थियों के बहुल क्षेत्र खासकर लॉज वाले क्षेत्रों में घर में भी यह धंधा चल रहा है. साहेबगंज, सराय, रिकाबगंज, उर्दू बाजार, कंपनीबाग, किलाघाट, लालकोठी, परबत्ती आदि में लॉज में 50 हजार से अधिक छात्र रहते हैं जबकि लालबाग सराय, आदमपुर, छोटी खंजरपुर, बड़ी खंजरपुर व आसपास क्षेत्र में बने लॉज में छात्राएं रहती हैं. अधिकतर छात्र छोटे सिलेंडर पर खाना बनाते हैं. कंपनी की ओर से छोटे गैस की सुविधा दी गयी है, फिर भी इन जगहों से छोटे सिलिंडर की रिफीलिंग हो रहा है. स्थानीय थाना पुलिस भी इनकी निगरानी नहीं करती है. इसी कारण अवैध रिफीलिंग करने वालों के हौसले बुलंद हैं और वह खुलेआम यह काम कर रहे हैं.
सराय में अवैध गैस रिफीलिंग का कारोबार करने वालों ने बताया कि अभी प्रति किलो 90 रुपये कीमत है, लेकिन पहले से धंधा मंदा है. कई विद्यार्थी भी बड़े सिलेंडर रख लेते. इसमें कई छात्र एक साथ मिलकर भोजन बनाते हैं और गैस भरवाने के झंझट से बचते हैं. शहर में 500 से अधिक सेंटर संचालित हैं. एक-एक सेंटर से रोजाना 5000 रुपये तक का कारोबार होता है.
कहते हैं गैस एजेंसी के संचालकएक गैस एजेंसी संचालक ने बताया कि छोटे-छोटे ग्रामीण वितरक गैस सिलेंडर गैस रिफीलंग करने वाले को ब्लैक में बेचते हैं. खासकर नवगछिया व आसपास क्षेत्र से गैस सिलिंडर की आपूर्ति होती है. सुरखीकल में हमेशा बाहर की गाड़ी लगी रहती है, जहां से गैस रिफीलिंग करने वाले को आपूर्ति की जाती है. अधिक से अधिक आपूर्ति करने के लिए निर्धारित रेट में गैस सिलेंडर दे देते हैं.
———— बिना ईकेवाइसी कराये व नंबर लगाये किसी को गैस नहीं देना है. इसके बाद भी गैस बाजार में आ रहा है, तो इसके लिए प्रशासन को सख्त कार्रवाई करने की जरूरत है.प्रशांत कुमार, संचालक, मांडवी इंडेन
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