Union Budget 2024-25 tourism केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को बिहार के विश्व प्रसिद्ध धार्मिक-पर्यटन केंद्रों गया के विष्णुपद मंदिर और बोधगया के महाबोधि मंदिर को काशी विश्वनाथ की तर्ज पर कॉरिडोर में विकसित करने का ऐलान किया है. बजट 2024-25 पेश करते हुए उन्होंने ये बात कही. इसके साथ ही उन्होंने आगे कहा कि राजगीर, नालंदा को वैश्विक पर्यटन के केंद्रबिंदु के तौर पर विकसित किया जायेगा. केंद्र सरकार इसपर विशेष ध्यान देगी.
वित्त मंत्री ने क्या कहा…
लोकसभा में वित्त मंत्री ने इसकी घोषणा करते हुए कहा कि “हमारी सरकार भारत को ग्लोबल टूरिस्ट डेस्टिनेशन बनाने के लिए प्रतिबद्ध है. इसी कड़ी में हमारी सरकार बिहार के गया में स्थित विष्णुपाद मंदिर और बोधगया के महाबोधि मंदिर को विकिसित करने का फैसला किया है. क्योंकि इनकी पूरे दुनिया में एक अलग पहचान है. उन्होंने आगे कहा कि काशी विश्वनाथ मंदिर कॉरिडोर की तर्ज पर ही बिहार के विष्णुपाद कॉरिडोर और महाबोधि कॉरिडोर को विकसित किया जाएगा. इसके साथ ही राजगीर जो कि हिंदुओं, जैनियों और बुद्धों का प्रसिद्ध तीर्थ स्थान है उसे भी विश्वस्तरीय डेस्टिनेशन की तर्ज पर तैयार किया जायेगा. इसमें 20वें तीर्थंकर मुनीश्वर जैन मंदिर, सप्तऋषियों से जुड़ी जगह और गर्म पानी के पवित्र कुंड के आसपास के इलाकों को भी शामिल कर विकसित किया जाएगा. इसके साथ ही नालंदा को पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित किया जाएगा। नालंदा विश्वविद्यालय को उसके गौरवशाली स्वरूप में पुनर्जीवित किया जाएगा.”
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क्या है काशी कॉरिडोर टूरिज्म
काशी कॉरिडोर टूरिज्म इंडस्ट्री के लिए जैकपॉट साबित हुआ है. इसके निर्माण के बाद आंकड़े बताते हैं कि काशी में हर महीने तकरीबन 20 से 30 लाख पर्यटक आ रहे हैं. यहां पर देश के हर कोने से युवा आ रहे हैं. सीजनल घूमने वाले नहीं, बल्कि यह संख्या अब नियमित बढ़ रही है. लगभग एक लाख लोग नियमित आ रहे हैं. छुट्टी वाले दिन यह संख्या दोगुनी हो रही है.काशी कॉरिडोर बनने के बाद डोमेस्टिक टूरिज्म खूब बढ़ा है.यहां के टूरिज्म पहले विदेशियों (इनबाउंड) के भरोसे चलते थे, लेकिन अब भारतीय भी बड़ी संख्या में आने लगे हैं. यहां पर हर दिन करीब एक लाख लोग आ रहे हैं. पहले अप्रैल से सितम्बर में लोग कम आते थे.लेकिन अब हर समय लोग आ रहे हैं.
रोजगार के मिले अवसर
काशी विश्वनाथ कॉरिडोर बनने के बाद सत्यदेव सिंह की टीम के डाक्टर पारुल जैन और सिद्धार्थ ने मिलकर एक सर्वे किया. उनके सर्वे के अनुसार धाम बनने के बाद होटल मालिकों की आय में 65 फीसदी, दुकानदारों की आय में 47 फीसदी, ई-रिक्शा चालकों की आय में 30 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. टैक्सी ऑपरेटरों की आय में सबसे कम 20 फीसदी की बढ़ोतरी आंकी गई है. रिपोर्ट में यह बात भी सामने आयी कि 98.48 फीसदी लोग यह मानते है कि रोजगार पैदा हुआ है. अकेले पर्यटन के क्षेत्र में सबसे ज्यादा 34.18% रोजगार बढ़ गया है. 99.53% लोगों ने माना है कि शहर के ढांचागत सुविधाओं में व्यापक सुधार हुआ है.