गोपालगंज. मॉडल सदर अस्पताल में बुधवार को डीएम प्रशांत कुमार सीएच ने औचक निरीक्षण किया. इमरजेंसी अस्पताल, ओपीडी, एसएनसीयू, पीकू और नवनिर्मित भवन का निरीक्षण कर जायजा लिया. इमरजेंसी वार्ड में भर्ती मरीजों से बात की और अस्पताल प्रशासन से मिल रही सुविधाओं के बारे में फीडबैक लिया. साफ-सफाई, डॉक्टर द्वारा इलाज व लिखी दवाइयों के बारे में जानकारी ली.
दवाइयों की उपलब्धता के बारे में सीएस से ली जानकारी
इमरजेंसी वार्ड में निरीक्षण करने के बाद डीएम लेबर वार्ड और एसएनसीयू में पहुंच गये, जहां एक-एक मरीज से उनके बच्चों के इलाज के बारे में फीडबैक लिया और दवाइयों की उपलब्धता के बारे में सिविल सर्जन से जानकारी ली. डीएम ने एसएनसीयू में मौजूद जीएनएम से नवजात बच्चों के डायपर नहीं होने के बाद में पूछा, जिसका माकूल जवाब नहीं मिला. यहां डीएम ने नाराजगी जताते हुए अस्पताल प्रबंधक को कड़ी फटकार लगायी और तत्काल डायपर को खरीदकर एसएनसीयू में भर्ती नवजात बच्चों को उपलब्ध कराने के निर्देश दिये.
ओपीडी का भी किया औचक निरीक्षण
एसएनसीयू के बाद पीकू वार्ड व डायलिसिसि केंद्र में भी पहुंचे, यहां भी भर्ती मरीज के परिजनों से इलाज के बारे में फीडबैक लिया. डीएम ने ओपीडी का भी निरीक्षण किया, जहां कई चिकित्सक का नाम रोस्टर में था, लेकिन मौजूद नहीं थे. इसपर सिविल सर्जन डॉ बीरेंद्र प्रसाद से कारणपृच्छा का निर्देश दिया. वहीं, जिला स्वास्थ्य प्रबंधक धीरज कुमार को ओपीडी में कोल्ड के मौसम वाली जरूरी दवाइयों का अलग रोस्टर बनाकर लगाने का निर्देश दिया. डीएम ने कहा कि अस्पताल में मरीजों को किसी तरह की परेशानी नहीं हो, इसका पूरा ख्याल रखना होगा.
एंबुलेंस की उपलब्धता के बारे में भी ली जानकारी
वहीं, डीएम ने एंबुलेंस की उपलब्धता के बारे में पूछा, जिसपर एंबुलेंस एजेंसी के एसीओ मुन्ना कुमार ने बताया कि सदर अस्पताल को पांच एंबुलेंस मिली हैं. इसके अलावा पूरे जिलेभर के अस्पतालों के लिए 102 सेवा की 33 एंबुलेंस मिली हैं. यहां अस्पताल प्रबंधक ने कहा कि रात में एंबुलेंस सेवा के लिए 102 डायल करने पर नंबर नहीं रिसीव होने की शिकायतें मिलती है, इसपर एसीओ ने बताया कि 102 के अलावा उनका निजी नंबर भी इमरजेंसी व लेबर वार्ड में नोटिस बोर्ड पर लगाया गया है, ताकि इमरजेंसी के दौरान यहां भी कॉल करके एंबुलेंस की सेवा प्राप्त कर सकें. डीएम ने सदर अस्पताल को कम से कम 10 एंबुलेंस उपलब्ध कराने के लिए बात कही और इस संबंध में एजेंसी और राज्य स्वास्थ्य समिति के अधिकारियों से भी बात करने की बात कही है. डीएम ने अस्पताल प्रशासन के सभी अधिकारियों और प्रबंधक समेत कर्मियों को एक माह में सुधार लाने का सख्त निर्देश दिया है. डीएम ने कहा कि मरीजों की इलाज में कोताही या बेवजह रेफर किये जाने की शिकायतें मिलीं, तो सीधी कार्रवाई की जायेगी.
नये इमरजेंसी अस्पताल का भी जायजा
डीएम ने सदर अस्पताल में बन रहे नये इमरजेंसी अस्पताल का भी निरीक्षण किया. डीएम के साथ मौजूद सिविल सर्जन डॉ बीरेंद्र प्रसाद ने कहा कि नये भवन बनने के बाद दूसरे फेज में लेबर वार्ड के पास काम लगाया जायेगा. डीएम ने बिहार मेडिकल सर्विसेज एंड इंफ्रास्ट्रक्चर (बीएमएसआइसीएल) को निर्धारित समय सीमा पर कंस्ट्रक्शन का काम पूरा करने का निर्देश दिया. पहले से मार्च महीने तक भवन निर्माण का कार्य पूरा होने की बात कही गयी, लेकिन कंस्ट्रक्शन पूरा होने में और अधिक समय लग सकता है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है