पटना. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अधिकारियों को निर्देश देते हुये कहा है कि हर हाल में ”हर खेत तक सिंचाई का पानी निश्चय योजना” को वर्ष 2025 के पहले पूरा करें. कार्यों की प्रगति का जायजा लेने के लिये हम स्वयं स्थलीय निरीक्षण करेंगे. पिछली बैठकों में हर खेत तक सिंचाई निश्चय योजना के संबंध में एक-एक बात पर चर्चा हुई थी. इसके लिए संबद्ध अधिकारियों और अभियंताओं के साथ बैठक कर तेजी से काम को आगे बढायें, स्थल पर जाकर कार्यों के अद्यतन स्थिति की समीक्षा करें. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से यह बातें गुरुवार को सात निश्चय-2 के तहत ”हर खेत तक सिंचाई का पानी” योजना की समीक्षात्मक बैठक में कहीं. इस बैठक का आयोजन 1 अणे मार्ग स्थित ”संकल्प” में किया गया था.
जल और हरियाली है तभी सभी का जीवन है सुरक्षित
बैठक में अधिकारियों को निर्देश देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2015 से 2020 में सात निश्चय-1 योजना को पूर्ण किया गया. वर्ष 2020-2025 के लिए सात निश्चय-2 योजना पर काम किया जा रहा है. हर खेत तक सिंचाई का पानी, लक्ष्य के अनुरूप निर्धारित समय के अंदर पहुंचे, इसको लेकर तेजी से काम करें. उन्होंने कहा कि लोगों की सुविधाओं के लिये और उनके हित में हम निरंतर काम करते हैं, किसानों के हित में लगातार काम करते रहेंगे. भू-जल स्तर को मेंटेन रखने और पर्यावरण को बढ़ावा देने के लिये भी कई कार्य किये गये हैं. जल के संरक्षण और हरियाली को बढ़ावा देने के लिये वर्ष 2019 में जल-जीवन-हरियाली अभियान की शुरुआत की गयी है. जल और हरियाली है तभी सभी का जीवन सुरक्षित है.
मुख्यमंत्री को दी गई जानकारी
बैठक में अपर मुख्य सचिव जल संसाधन एवं लघु जल संसाधन चैतन्य प्रसाद ने मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुतीकरण के माध्यम से सात निश्चय-2 के तहत हर खेत तक सिंचाई का पानी निश्चय योजना के प्रगति कार्यों की विस्तृत जानकारी दी. ऊर्जा विभाग, कृषि विभाग एवं ग्रामीण विकास विभाग के अधिकारियों ने भी हर खेत तक सिंचाई का पानी योजना के तहत अपने-अपने विभागों में किये जाने वाले कार्यों की प्रगति की जानकारी दी.
ये रहे मौजूद
बैठक में ऊर्जा सह योजना एवं विकास मंत्री बिजेन्द्र प्रसाद यादव, वित्त, वाणिज्य कर एवं संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी, जल संसाधन मंत्री संजय कुमार झा, ग्रामीण विकास मंत्री श्रवण कुमार, कृषि मंत्री कुमार सर्वजीत, लघु जल संसाधन मंत्री जयंत राज, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव डॉ एस सिद्धार्थ, अपर मुख्य सचिव जल संसाधन एवं लघु जल संसाधन विभाग चैतन्य प्रसाद, ग्रामीण विकास विभाग के सचिव डॉ एन सरवन कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, सचिव वित्त (व्यय) लोकेश कुमार सिंह, कृषि विभाग के निदेशक आलोक रंजन घोष, एसबीपीडीसीएल के एमडी महेन्द्र कुमार, लघु जल संसाधन विभाग की विशेष सचिव आसिमा जैन सहित अन्य वरीय अधिकारी उपस्थित थे.