Bihar: सुलतानगंज-अगुवानी फोरलेन पुल का निर्माण युद्ध स्तर पर किया जा रहा था. निर्माण कार्य अंतिम चरण में है. लेकिन रविवार की शाम तेज आवाज के साथ फोरलेन पुल का पाया व सुपर स्ट्रैक्चर ध्वस्त हो गया. पुल फिर एकबार भरभरा कर गिर गया. जिसके बाद अब इसके गुणवत्ता पर सवाल उठने शुरू हो गए हैं. लगभग दो सौ मीटर पुल का सुपर स्ट्रैक्चर ध्वस्त हो गया.
जानकारी मिलने के बाद अफरा-तफरी मच गयी. हजारो लोग मौके पर पहुंचने लगे. सोशल मीडिया पर निर्माणाधीन पुल गिरने का वीडियो वायरल होने लगा. काम में लगे कर्मी व मजदूरों को शायद इस अनुमानित हादसे की भनक पहले ही लग चुकी थी इसलिए वो सतर्क थे. हालाकि इस दौरान एक कर्मी के लापता होने की जानकारी सामने आ रही है.
प्रत्यक्षदर्शी के अनुसार शाम करीब 5:30 बजे बहुत ही तेज आवाज के साथ पुल ध्वस्त हो गया. लगभग दो किलोमीटर तक तेज आवाज सुना गया. बताया गया कि सुबह से ही पुल का कुछ हिस्सा गंगा में गिर रहा था.संभावना व्यक्त किया गया कि जिसकी भनक मजदूरों को लग चुकी थी. कोई भी मजदूर पुल पर काम नहीं कर रहा था. जिस कारण कोई बड़ी दुर्घटना नहीं हुई. गंगा के ऊपर 500 मीटर में मलबा भी बिखरा पड़ा है.
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बताते चलें कि 30 अप्रैल को फोरलेन पुल का लगभग दो सौ मीटर सुपर स्ट्रैक्चर ध्वस्त हो गया था. 36 सेंगमेंट भरभरा कर गिर गया था. दोबारा पुल के धराशायी होने से कार्य की गुणवत्ता पर प्रश्न चिन्ह खड़ा हो रहा है. जांच के बाद ही मामला स्पष्ट हो पायेगा.
सुलतानगंज-अगुवानी फोरलेन पुल निर्माण में मिट्टी युक्त बालू का उपयोग का मामला विधायक प्रो ललित नारायण मंडल ने 20 नवंबर 2021 को निरीक्षण के दौरान उठाया था. गुणवत्ता की कमी को लेकर फटकार भी लगायी थी. निम्न स्तर के बालू से कार्य कराने को लेकर विधायक बिफर पड़े थे.
विधायक ने गंगा ब्रिज की मजबूती पर चिंता व्यक्त करते हुए सीएम के ड्रीम प्रोजेक्ट में हर हाल में क्वालिटी का ध्यान रखने का निर्देश दिया था. 30 अप्रैल को पुल का 36 स्लैब गिर गया, तो गुणवत्ता पर प्रश्न चिह्न खड़े हो गए थे. पुल निर्माण संपन्न होने का समय नवंबर 2019 था, लेकिन बाद में वर्ष 2023 तक पुल के पूरा होने की संभावना व्यक्त की गयी थी.दिसंबर में इसका उद्घाटन होना था, लेकिन रविवार को पुल के दोबारा धराशायी होने से उद्घाटन में अब लंबा समय लग सकता है.
Published By: Thakur Shaktilochan