BPSC परीक्षा को पिछले एक महीने से रद्द करने की मांग को लेकर अभ्यर्थी राज्यभर में आंदोलन कर रहे हैं. आंदोलन का नेतृत्व कर रहे अभ्यर्थियों को इस संघर्ष में एक नया मोड़ तब मिला जब केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने खुद उनसे मुलाकात की. यह मुलाकात चिराग पासवान के आवास पर हुई, जहां अभ्यर्थियों ने अपनी मांगें और समस्याएं उनके सामने रखीं. इस मुलाकात के बाद अभ्यर्थियों को यह उम्मीद जागी कि उनकी मांगों पर सरकार से सकारात्मक प्रतिक्रिया मिलेगी.
चिराग पासवान ने अभ्यर्थियों को दिलाया भरोसा
अभ्यर्थियों ने चिराग पासवान से खुलकर अपनी समस्याएं साझा कीं, जिनमें परीक्षा रद्द करने, पुनः परीक्षा की मांग, और परीक्षा की शुद्धता से जुड़े मुद्दे शामिल थे. चिराग पासवान ने उनकी बातों को गंभीरता से सुना और इस मुद्दे को उचित ठहराया. उन्होंने भरोसा दिलाया कि वह इस मामले को गठबंधन के सभी नेताओं के सामने उठाएंगे और मुख्यमंत्री से भी इस विषय पर विस्तृत चर्चा करेंगे.
चिराग ने यह भी कहा कि वह इस मुद्दे पर राजनीति से दूर रहकर केवल अभ्यर्थियों के मुद्दे को सही ढंग से प्रस्तुत करेंगे और हर संभव मदद करने के लिए तैयार हैं.
राजनीतिक बातचीत से परे, केवल समाधान पर ध्यान
BPSC अभ्यर्थियों ने बताया कि चिराग पासवान ने मुलाकात के दौरान किसी भी प्रकार की राजनीतिक चर्चा से बचने की कोशिश की. उनका स्पष्ट कहना था कि इस मुद्दे को राजनीति से बाहर रखना जरूरी है और उनका उद्देश्य केवल अभ्यर्थियों की समस्याओं का समाधान करना है. इस बातचीत में न तो पप्पू यादव और न ही पीके जैसे नेताओं का कोई उल्लेख किया गया, जिससे साफ था कि चिराग का एकमात्र फोकस अभ्यर्थियों की समस्या और उनकी मांगों पर था.
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अभ्यर्थियों की निगाहें अब हाईकोर्ट पर
अब इस मुद्दे पर अभ्यर्थियों की निगाहें पटना हाईकोर्ट पर टिकी हैं, जहां 15 जनवरी को उनकी याचिका पर पहली सुनवाई होनी है. अभ्यर्थियों को पूरा विश्वास है कि कोर्ट उनके पक्ष में फैसला सुनाएगा और उनकी मांगों को जायज मानते हुए उचित कदम उठाएगा. इस याचिका में बीपीएससी परीक्षा की रद्दीकरण की मांग और अन्य संबंधित मुद्दों पर फैसला मांगा गया है.