पटना जिले में गंगा नदी का जल स्तर अब स्थिर हो चुका है. बाढ़ नियंत्रण प्रमंडल की ओर से शुक्रवार को दोपहर 12 बजे आयी रिपोर्ट में बताया गया कि दीघा और गांधी घाट में दोपहर 12 बजे से गंगा के जल स्तर में वृद्धि नहीं हो रही है. शनिवार की शाम से पानी घटने के आसार बने हैं. वहीं, पटना जिले के विभिन्न घाटों पर बीते तीन दिनों से गंगा नदी का जल स्तर बढ़ रहा था. मनेर, दीघा, गांधी घाट और हथिदह में गंगा नदी खतरे के निशान के ऊपर बह रही थी. शुक्रवार को दीघा का जल स्तर 51.76 मीटर, गांधी घाट का जल स्तर 50.28 मीटर, मनेर में 53.29 मीटर और हाथीदह में 43.27 मीटर दर्ज किया गया.डाीएम डॉ चंद्रशेखर सिंह और एसएसपी राजीव मिश्रा ने शुक्रवार को बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों-दीघा पाटीपुल घाट, कुर्जी बिंद टोली घाट सहित आस-पास के क्षेत्रों का निरीक्षण किया. निरीक्षण के बाद डीएम ने बताया कि बाढ़ कैंप में सामुदायिक रसोई का संचालन, मेडिकल कैंप, आवागमन के लिए नाव की व्यवस्था, पशु शेड, चारा व्यवस्था, पशु चिकित्सा जांच, सुरक्षा व्यवस्था, अस्थायी शौचालय, शुद्ध पेयजल की व्यवस्था कर दी गयी है. इसके अलावा जरूरत अनुसार अन्य सुविधाओं को भी ठीक किया जा रहा है. दीघा के पाटीपुल घाट के पास नकटा दियारा आदि जगहों से आये लोगों की व्यवस्था की गयी है. पशुओं के लिए भी कैंप लगाने के साथ चारा की व्यवस्था की गयी है. कम्युनिटी किचन की शुरुआत भी की जा चुकी है. कुर्जी बिंद टोली के लोगों के लिए भी गंगा पथ पर कम्युनिटी किचन की शुरुआत की गयी है. दोनों जगहों को मिलाकर करीब 350 लोग कैंप में निवास कर रहे हैं. 17 नावों की व्यवस्था की गयी : डीएम के निर्देश पर इस इलाके में आवागमन के लिए 17 नावों की व्यवस्था की गयी है. सदर एसडीओ व सीओ, एसडीओ को नावों के परिचालन में मानकों का पालन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है. डीएम ने कहा कि पटना जिले में गंगा नदी व उसकी सहायक नदियों के जल-स्तर में वृद्धि को देखते हुए सभी एसडीओ, सीओ व बीडीओ को स्थिति सामान्य होने तक बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का रोज भ्रमण करने, घाटों व ऐसे इलाकों में नियमित निगरानी करने और एसओपी के अनुसार सभी आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है.
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