सीएसआर फंड को चैनलाइज्ड और गड़बड़ी रोकने के लिए वित्त विभाग बना रहा है पोर्टल कैलाशपति मिश्र,पटना राज्य सरकार कॉरपोरेट कंपनियों की सीएसआर के नाम पर किये जाने वाले फर्जीवाड़े या गड़बड़ियों पर नजर रखेगी. इसके लिए वित्त विभाग एक पोर्टल तैयार कर रहा है. इससे सीएसआर के तहत राज्य को मिल रही राशि की मॉनीटरिंग और उस में हो रही गड़बड़ी को रोकने के उपाय किये जायेंगे.वित्त विभाग द्वारा तैयार किया जा रहा पोर्टल कॉरपोरेट संस्थाओं,कार्यान्वयन एजेंसियों और राज्य सरकार के बीच समन्वय का एक प्लेटफॉर्म होगा. राज्य सरकार का यह मानना है कि राज्य में समावेशी और सतत विकास के लक्ष्य प्राप्त करने में सीएसआर की राशि महत्वपूर्णं भूमिका निभा सकती है. पोर्टल से कॉरपोरेट,कार्यान्वयन एजेंसियों और सरकार के बीच होगा समन्वय : यह पोर्टल एक केंद्रीकृत डिजिटल प्लेटफॉर्म के रूप में काम करेगा. इससे एक तरफ जहां संस्थाओं,कार्यान्वयन एजेंसियों और राज्य के विभागों के बीच समन्वय स्थापित होगा,वहीं इससे सीएसआर फंड के उपयोग में पारदर्शिता भी आयेगी. पोर्टल विकासात्मक आवश्यकताओं,परियोजना के निर्धारण और कार्यान्वयन की पहचान करने में सक्षम होगा.सीएसआर की राशि राज्य सरकार अपनी प्राथमिकता वाले क्षेत्र यथा- शिक्षा,स्वास्थ्य सेवा,कौशल विकास, ग्रामीण बुनियादी ढांचा और पर्यावरण के मद में खर्च कर सकेगी.सीएसआर पोर्टल, परियोजनाओं के प्रस्ताव, अनुमोदन, रियल टाइम निगरानी और रिपोर्टिंग के लिए सुविधाएं प्रदान करेगा. इससे वैधानिक दिशा-निर्देशों का अनुपालन,जवाबदेही को बढ़ावा देने के साथ-साथ फंड देने वाली कॉरपोरेट के बीच विश्वास बढ़ेगा. बिहार को मिली सीएसआर राशि वर्षराशि करोड़ में 2018-19138 2019-20111 2020-21 90 2021-22166 2022-23236 क्या है सीएसआर कॉरपोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व (सीएसआर) कनून के तहत कंपनियों को अपने लाभ का एक हिस्सा सामाजिक उत्थान के तहत खर्च करना होता है.यह कॉरपोरेट को कर्मचारियों, ग्राहकों, समुदाय और पर्यावरण के प्रति जिम्मेदारी निर्वहन को को प्रेरित करता है.
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