मुख्य सचिव की अध्यक्षता में विभिन्न विभागों के आला अधिकारियों की हुई बैठक संवाददाता, पटना राज्य की नदियों, नहरों, तालाबों सहित जल स्रोतों से गाद निकालकर उसका उपयोग सड़क सहित निर्माण कार्यों में किया जायेगा. इस संबंध में सरकारी विभाग अपने स्तर से जिला समाहर्ता को गाद निकालने के लिए जलस्रोतों की जानकारी देंगे और समाहर्ता के माध्यम से खनन विभाग द्वारा गाद निकासी की व्यवस्था की जायेगी. इससे जलस्रोतों में पानी संचय की क्षमता बढ़ेगी और इस पानी का उपयोग सिंचाई के लिए हो सकेगा. वहीं जलस्रोतों से निकलने वाला गाद संबंधित विभाग सड़क और भवन निर्माण में कर सकेंगे. इस संबंध में जल स्रोतों से मिट्टी उपलब्धता नीति 2024 बनेगी. इसे लेकर मंगलवार को मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा की अध्यक्षता में सभी कार्य विभागों और सिंचाई से जुड़े एक दर्जन विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक हुई. इसका आयोजन मुख्य सचिव के सभा कक्ष में किया गया था. मधुबनी के मिथिला हाट की तर्ज पर राज्य के राष्ट्रीय राजमार्गों (एनएच) के किनारे हाटों का निर्माण किया जायेगा. राज्य के बड़े जिलों में दो-दो तो छोटे जिलों में एक हाट का निर्माण किया जायेगा. मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा की अध्यक्षता में मंगलवार को संपन्न हुई आयुक्त व डीएम के साथ बैठक में इस पर सहमति बनी. . उन्होंने ग्रामीण कार्य विभाग की 183 सड़कें व 41 पुलों के निर्माण में आ रही देरी को दूर करने का निर्देश दिया मुख्य सचिव योजना एवं विकास विभाग की योजनाओं की समीक्षा की और जरूरी निर्देश दिये.उन्होंने ड्रॉप आउट कम करने के लिए जिला निबंधन एवं परामर्श केंद्र (डीआरसीसी) के माध्यम से लाभार्थियों से संर्पक करने के लिए कहा. मुख्यमंत्री निश्चय स्वयं सहायता भत्ता योजना(एसएचए) के लक्ष्य के विरूद्ध आवेदन लेने के लिए डीआरसीसी के स्तर से जिला,प्रखंड, पंचायत,वार्ड और शैक्षणिक संस्थानों में व्यापक प्रचार-प्रसार करने के साथ-साथ कैंप लगाकर काउंसलिंग करवाने का भी निर्देश दिया.
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